आजकल डायबिटीज एक आम बीमारी है. हर घर में कोई न कोई डायबिटीज रोगी होता है. डायबिटीज में शरीर का ब्लड शुगर स्तर सामान्य से अधिक हो जाता है. डायबिटीज मुख्य रूप से अनियमित जीवनशैली, अनुचित आहार और शरीर में पोषक तत्वों के असंतुलन के कारण होता है. इसलिए चलिए आयुर्वेदिक डॉक्टर से जानें कि शुगर बढ़ने के कारण क्या हैं और कैसे इसे कंट्रोल करें.
अनियमित जीवनशैली
आयुर्वेदिक विशेषज्ञों के अनुसार डायबिटीज का मुख्य कारण अनियमित दिनचर्या है. देर रात तक जागना, सुबह देर से उठना और बिना किसी शारीरिक गतिविधि के पूरा दिन गुजारना शरीर में वात और कफ दोषों को बढ़ाता है.
इन दोषों को ठीक करने के लिए अस्वास्थ्यकर जीवनशैली को त्यागना महत्वपूर्ण है. इसके लिए प्रतिदिन 40 मिनट शारीरिक गतिविधि (पैदल चलना/साइकिल चलाना/कार्डियो/योग) और 20 मिनट प्राणायाम करें. ऐसी गतिविधियाँ प्रतिदिन करने से शरीर में रक्त संचार बेहतर होता है. यह शरीर में ऑक्सीजन के स्तर को बनाए रखता है और इंसुलिन स्राव में मदद करता है.
प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों ज्यादा लेना
आधुनिक जीवनशैली में प्रोसेस्ड फूड खाने का चलन काफी बढ़ गया है. लेकिन प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थ डायबिटीज रोगियों के लिए बहुत हानिकारक हैं. विशेषज्ञों के अनुसार, डायबिटीज रोगियों को नट्स, सफेद चीनी, रिफाइंड आटा (प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थ), दही और ग्लूटेन युक्त खाद्य पदार्थों के सेवन से बचना चाहिए.
ब्लड शुगर को नियंत्रित करने के लिए आपको ताजे फल और सब्जियां खानी चाहिए. इसके अलावा, मक्का और बाजरा जैसे अनाज का सेवन ब्लड शुगर को नियंत्रण में रखने में मदद करता है.
देर रात को खाना
देर रात भोजन करने से डायबिटीज रोगियों की समस्या और बढ़ सकती है. देर रात को खाना खाने से ब्लड शुगर का स्तर बढ़ जाता है. इससे कई बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है. इसलिए डायबिटीज रोगियों को सूर्यास्त से पहले भोजन कर लेना चाहिए. यदि आप काम के दबाव के कारण सूर्यास्त से पहले भोजन नहीं कर सकते तो रात 8 बजे भोजन करना एक अच्छा विकल्प है.
खाने के तुरंत बाद सो जाना
डायबिटीज रोगियों को खाने के तुरंत बाद लेटना नहीं चाहिए. आयुर्वेद के अनुसार, खाना खाने के तुरंत बाद कफ दोष बढ़ जाता है, जिससे ब्लड शुगर का स्तर बढ़ जाता है. यदि आप डायबिटीज रोगी हैं, तो खाने के बाद कम से कम 30 मिनट तक टहलें और फिर लेट जाएं. यह पाचन के लिए भी अच्छा है.
डायबिटीज की दवाओं पर निर्भरता
स्वस्थ दिनचर्या का पालन न करने और केवल डायबिटीज की दवाओं पर निर्भर रहने से ब्लड शुगर के स्तर को नियंत्रित नहीं किया जा सकेगा. बहुत अधिक मात्रा में डायबिटीज रोधी दवा लेने से गुर्दे और यकृत संबंधी समस्याएं हो सकती हैं.
(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए डॉक्टर से संपर्क करें.)
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