डायबिटीज से पीड़ित लोगों को नियमित रूप से अपने स्वास्थ्य की जांच करानी चाहिए . क्योंकि अगर शुगर कंट्रोल गलत हो तो यह सेहत के लिए बेहद खतरनाक है. यह लेख उन गलतियों के बारे में बताता है जो डायबिटीज रोगियों को घर पर शुगर परीक्षण करते समय नहीं करनी चाहिए .
क्योंकि अगर आप ऐसा करते हैं तो आपकी रीडिंग गलत आएगी और इससे आपको डायबिटीज की सही रिपोर्ट नहीं मिलेगी और कई बार अनजाने में आप शुगर कम या ज्यादा होने पर गलत इलाज कर सकते हैं. तो चलिए जानें कि शुगर टेस्ट करते हुए किन बातों का ध्यान रखना चाहिए.
बहुत ज्यादा पानी पी लेना
निर्जलीकरण हमारी कई स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है . डायबिटीज उनमें से एक है . यदि ब्लड शुगर का स्तर अचानक बढ़ जाता है, तो यह आपके शरीर में पानी की मात्रा की कमी के कारण भी हो सकता है . इसलिए हर दिन 8 से 10 गिलास पानी पीने की आदत बनाएं .
एक ही उंगली से बार-बार ब्लड सैंपल लेना
ब्लड शुगर टेस्ट करते समय बार-बार एक ही उंगली पर लैंसेट का इस्तेमाल न करें . दरअसल, बार-बार एक ही जगह सुई चुभाने से इंजरी के चांस बढ़ जाते हैं . वहीं, डायबिटीज रोगियों के लिए छोटा घाव भी बड़े संक्रमण का कारण बन सकता है .
सही उंगली से ब्लड सैंपल न लेना
मध्यमा या अनामिका अंगुली को प्राथमिकता दी जाती है, क्योंकि इसमें त्वचा के नीचे ऊतक की गहराई सबसे अधिक होती है, और इसलिए इसमें चोट लगने की संभावना सबसे कम होती है .
बिना समझे परीक्षण करना
यदि आप यह नहीं समझ पा रहे हैं कि ग्लूकोमीटर की रीडिंग क्या बता रही है, तो शुगर टेस्ट कराने का कोई मतलब नहीं है . तो आपको पता होना चाहिए कि ग्लूकोज मीटर से शुगर टेस्ट कैसे करें और परिणाम कैसे जानें . यदि आपको यह जानना मुश्किल लगता है, तो निकटतम क्लिनिक पर जाएँ और डॉक्टर से शुगर परीक्षण करवाएँ .
ठीक से सेनिटाइज नहीं करना
शुगर चेक करने से पहले अपनी उंगली को सैनिटाइज करना न भूलें . हाथों को साबुन से अच्छी तरह धोएं . जैसा कि जर्नल डायबिटीज़ केयर ने अपनी अध्ययन रिपोर्ट में बताया है, यदि गंदे या अशुद्ध हाथों से रक्त लिया जाए और ब्लड शुगर स्तर का परीक्षण किया जाए, तो रीडिंग 10% कम होगी . इसलिए परीक्षण करने से पहले अपने हाथ साबुन और पानी से धो लें . लेकिन किसी भी कारण से अल्कोहल आधारित सैनिटाइज़र का उपयोग न करें .
परीक्षण उपकरणों का अनुचित उपयोग
सटीक रीडिंग प्राप्त करने के लिए, अपने ग्लूकोमीटर के लिए सही लैंसेट और परीक्षण स्ट्रिप्स का उपयोग करना एक अच्छा विचार है . ऐसा इसलिए है क्योंकि लैंसेट का बार-बार उपयोग उन्हें सुस्त कर सकता है . और समय सीमा समाप्त हो चुकी स्ट्रिप्स का उपयोग न करें . इससे भी टेस्टिंग रीडिंग ठीक से नहीं आएगी .
खाने के तुरंत बाद परीक्षण करें
डॉक्टर का कहना है कि जो लोग घर पर शुगर टेस्ट कराते हैं उन्हें खाना खाने के एक घंटे बाद यह टेस्ट कराना चाहिए . लेकिन ये ग़लत है. डॉक्टर का कहना है कि आपको खाने के बाद कम से कम दो घंटे इंतजार करना चाहिए . अगर तुरंत जांच की जाए तो पता चल सकता है कि शुगर लेवल बढ़ा हुआ है . इसलिए सटीक परिणामों के लिए दो घंटे का समय छोड़ना और फिर परीक्षा देना अच्छा है .
(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए डॉक्टर्स से संपर्क करें.)
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घर पर ब्लड शुगर टेस्ट करते हुए न करें ये गलतियां वरना नहीं मिलेगी सही रीडिंग, डायबिटीज बिगड़ती जाएगी