डीएनए हिंदीः यूक्रेन (Ukraine) पर रूस (Russia) के आक्रमण के साथ 'Z' प्रतीक भी जुड़ा हुआ है. यह एक ऐसा अक्षर जो "Cyrillic Russian alphabet" में मौजूद नहीं है. अब न्यूज एजेंसी 'Ukrinform' ने दावा किया है कि रूस सैन्य अभियानों का प्रतीक 'Z' अचानक से रूसी सैनिकों द्वारा मिटाया जा रहा है. न्यूज एजेंसी ने बताया कि रूसी सेना अपने सैन्य हार्डवेयर से 'Z' अक्षर को हटा रही है. रूसी सेना जापोरिजिया क्षेत्र में उकसाने की तैयारी में यूक्रेनी झंडे लगा रही है.
समझिए क्यों मिटाया जा रहा है 'Z'अक्षर
न्यूज एजेंसी 'Ukrinform' ने दावा किया है कि रूस द्वारा प्रतीक को मिटाने और दुश्मन के झंडे खड़े करने के पीछे जापोरिजिया के नागरिकों द्वारा पहचाने जाने से बचने का एक तरीका हो सकता है. यह यूक्रेनी सैनिकों और स्वयंसेवी बलों द्वारा जांच को रोकने के लिए छल करने का एक प्रयास भी हो सकता है. वहीं मीडिया रिपोर्ट्स की बात करें तो रूसियों ने पूर्वी यूक्रेन क्षेत्र में अपना अभियान तेज कर दिया है.
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क्या है रूसी सेना के लिए 'Z' सिंबल के मायने ?
आपको बता दें कि आक्रमण शुरू होने के बाद से रूसी सशस्त्र वाहनों पर 'Z' लिखा हुआ है. ऐसे वाहनों को कीव और अन्य शहरों में घूमते हुए देखा गया है. रूसी सैन्य वाहनों पर 'Z' प्रतीक चिन्ह के दो अर्थ होने का अनुमान लगाया जा रहा है. पहला संभावित अर्थ 'Za pobedu " जिसका अर्थ विजय बताया जाता है और दूसरा शब्द "Zapad" जिसका अर्थ 'पश्चिम' बताया जाता है.
"Z" को रूस की सेना के लिए अपने पड़ोसी, बलों को पहचानने जैसी घटनाओं को रोकने के लिए एक तंत्र भी माना जाता है. कुछ मीडिया साइट्स का ये भी दावा है कि "Z" यूक्रेन पर हमला करने के लिए रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन द्वारा दिए गए सिंबल में से एक है.
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कब देखा गया था "Z" सिंबल ?
रिपोर्ट्स के अनुसार, 22 फरवरी को डोनेट्स्क क्षेत्र में प्रवेश करते ही "Z" सिंबल पहली बार रूसी लड़ाकू वाहनों पर देखा गया था. हालांकि कुछ अन्य रिपोर्ट्स के मुताबिक ये सिंबल रूस द्वारा peninsula पर कब्जा करने के बाद पहली बार 2014 में क्रीमिया में लड़ाकू वाहनों पर दिखाई दिया था.
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