डीएनए हिंदी: France Terror Attack- फ्रांस के एक स्कूल में फिर से आतंकी हमला हुआ है. उत्तरी फ्रांस के अरास शहर में शुक्रवार को एक हमलावर ने चाकू मारकर एक टीचर की हत्या कर दी है. कई अन्य टीचर्स को भी चाकू मारकर घायल कर दिया गया है. Reuters ने BFM TV के हवाले से बताया है कि स्थानीय पुलिस ने चाकू हमले की पुष्टि कर दी है. रीजनल अथॉरिटीज ने बताया कि हमलावर को गिरफ्तार कर लिया गया है. कई फ्रांसीसी मीडिया ने अपनी रिपोर्ट में हमलावर के चाकू मारने से पहले 'अल्लाह हू अकबर' का नारा लगाने का दावा किया है, लेकिन पुलिस ने इन रिपोर्ट्स की पुष्टि नहीं की है. फ्रांस के गृह मंत्री गेराल्ड डार्मेनियन के मुताबिक, स्कूल में पुलिस ऑपरेशन जारी है. उन्होंने हमले को टैरर अटैक बताए जाने पर कोई कमेंट नहीं किया है.
पुलिस बोली, 'आतंकवाद से प्रेरित है घटना'
फ्रांस के गृह मंत्री ने भले ही अर्रास शहर के गैम्बेटा हाई स्कूल में हुई घटना को आतंकी वारदात नहीं माना है, लेकिन घटनास्थल पर पहुंचे पुलिस अधिकारी स्लिम हामजी ने कहा कि करीब 20 वर्षीय संदिग्ध हमलावर स्कूल का पूर्व छात्र है. हमले के दौरान उसने धार्मिक नारे लगाए हैं, जिससे यह हमला आतंकवाद से प्रेरित लग रहा है. उन्होंने कहा, शुक्रवार सुबह 11 बजे के करीब हाईस्कूल के पास से गुजरने के दौरान हमें चीखने-चिल्लाने की आवाज सुनाई दी. आवाज सुनकर अंदर जाने पर हमने एक युवक को धार्मिक नारे लगाते हुए लगातार चाकू से हमला करते हुए देखा. युवक ने फ्रांसीसी भाषा के एक शिक्षक, एक खेल शिक्षक और एक तकनीकी एजेंट को घायल कर दिया था. हमने हमलावर को दबोच लिया. घायलों को अस्पताल भेजा गया, जहां फ्रांसीसी भाषा के शिक्षक की इलाज के दौरान मौत हो गई है. बाकी दो घायलों में से भी एक की हालत गंभीर है.
स्कूलों में अलर्टनेस बढ़ाने के आदेश
फ्रांस के गृह मंत्री गेराल्ड डार्मेनियन ने कहा, घटना के बाद पूरे देश के सभी स्कूलों में अलर्टनेस के आदेश जारी कर दिए गए हैं. उन्होंने इस हमले का इजरायल-हमास युद्ध से संबंध होने पर कोई टिप्पणी नहीं की है. फ्रांस की संसद के निचले सदन की उपाध्यक्ष नाइमा माउचौ ने कहा कि नेशनल असेंबली पीड़ितों, उनके परिवारों और शिक्षक समुदाय के प्रति एकजुटता जता रही है. हमें पता चला है कि एक शिक्षक की हत्या कर दी गई है, जबकि कई अन्य घायल हो गए हैं.
क्या फ्रांस में हमले का है इजरायल-हमास युद्ध से संबंध?
फ्रांस में शिक्षक पर हमला जुमे के दिन हुआ है. इसे हमास की उस अपील से जोड़कर देखा जा रहा है, जिसमें पूरी दुनिया के मुस्लिमों से जुमे की नमाज वाले दिन इजरायल के खिलाफ अपने-अपने देश में खड़े होने के लिए कहा गया था. बता दें कि इजरायल पर हमास के हमले के बाद फ्रांस में यहूदी विरोधी प्रदर्शन बढ़ गए हैं. गुरुवार को ही गृह मंत्री गेराल्ड डार्मेनियन ने फिलिस्तीन के समर्थन वाले सभी प्रदर्शनों पर रोक लगाने के आदेश दिए थे. फ्रांस इसलिए भी चिंता में है, क्योंकि एकतरफ उसके यहां इजरायल और अमेरिका के बाद दुनिया की तीसरी सबसे ज्यादा यहूदी आबादी है. दूसरी तरफ, फ्रांस में पश्चिमी यूरोप की सबसे ज्यादा मुस्लिम आबादी भी मौजूद है.
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'अल्लाह हू अकबर' बोलकर फ्रांस में टीचर की चाकू मारकर हत्या, इजरायल-हमास युद्ध है कारण