डीएनए हिंदी: झारखंड के कैश कांड (Jharkhand Cash Case) में कांग्रेस के तीन गिरफ्तार विधायकों के खिलाफ पश्चिम बंगाल सीआईडी (West Bengal CID) टीम जांच कर रही है. इसके लिए बुधवार की सुबह सीआईडी टीम दिल्ली के चाणक्यपुरी स्थित सिद्धार्थ मजूमदार के ठिकाने पर छापेमारी के लिए पहुंची थी लेकिन सीआईडी की टीम को दिल्ली की साउथ वेस्ट पुलिस ने रोक दिया है.
दरअसल, पश्चिम बंगाल की सीआईडी टीम कोर्ट से वारंट लेकर पहुंची थी. इसके बावजूद झारखंड विधायक से संबंधित मामले में जांच के लिए पहुंची सीआईडी की टीम को तलाशी और छापेमारी करने से रोक दिया गया है. आपको बता दें कि सीआईडी की जांच में सिद्धार्थ मजूमदार का भी नाम सामने आया है.
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ऐसे में एजेंसियां यह पड़ताल कर रही हैं कि विधायकों को 29 जुलाई को कोलकाता से गुवाहाटी ले जाने वाला सिद्धार्थ कौन है. वहीं सिद्धार्थ ने ही 20 जुलाई को भी विधायकों की मुलाकात असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा से करवाई थी. इसके बाद से सीआईडी सिद्धार्थ की तलाश कर रही है और इसके तहत ही सीआईडी दिल्ली पहुंची थी लेकिन सिद्धार्थ मजूमदार के घर पर जांच से पहले ही टीम को रोक दिया गया.
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आपको बता दें कि कांग्रेस ने बीजेपी पर कांग्रेस विधायकों की खरीद फरोख्त का आरोप लगाकर झारखंड में सरकार गिराने का आरोप लगाया है. वहीं यह भी दावा किया गया है कि जिन विधायकों के पास से कैश पकड़ा गया था वे सभी असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा से मिले थे. हालांकि इन सभी मामलों को हिमंता बिस्वा सरमा ने खारिज कर दिया है और फिलहाल इस मामले की जांच बंगाल सीआईडी कर रही है.
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छापेमारी के लिए सिद्धार्थ मजूमदार के घर पहुंची CID की टीम को दिल्ली पुलिस ने रोका