डीएनए हिंदी: भारतीय सेना की सैन्य क्षमता हर दिन बढ़ती जा रही है. भारत ने शुक्रवार को देश में ही विकसित नयी पीढ़ी की मध्यम दूरी की बैलिस्टिक मिसाइल (Ballistic Missile) ‘अग्नि प्राइम’ (Agni Prime) का ओडिशा के तट से सफल परीक्षण किया. रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) को मिसाइल क्षमता में एक और बड़ी कामयाबी हासिल हुई है.
मिसाइल एपीजे अब्दुल कलाम आयलैंड स्थित सचल लांचर से सुबह 9 बजकर 45 मिनट पर लॉन्च की गई. सूत्रों के मुताबिक यह ठोस ईंधन युक्त मिसाइल सभी तय मानकों पर खरी उतरी.
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हर मानकों पर खरी उतरी मिसाइल
मिसाइल के पूरे रास्ते की निगरानी राडार से की गई थी. दूरमापी उपकरणों के जरिए अलग-अलग जगहों पर लगाए गए थे. उन्होंने बताया कि यह मिसाइल 1,000 से 2,000 किलोमीटर तक के लक्ष्य को भेद सकती है.
पिछली बार कब हुआ था मिसाइल का टेस्ट?
अग्नि प्राइम मिसाइल का पिछला परीक्षण बीते 18 दिसंबर को एपीजे अब्दुल कलाम आयलैंड से ही किया गया था, जो सफल रहा था.
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क्या है अग्नि प्राइम मिसाइल की खासियत?
DRDO की ओर से विकसित यह मिसाइल दो स्टेज में काम करता है. इसमें 2 इंजन होता है. इस मिसाइल का वजन करीब 11,000 किलो का होता है. यह बेहद आसानी से 1.5 से 3 टन का वारहेड तक ढो सकती है.
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अग्नि प्राइम मिसाइल की मारक क्षमता 1,000 से 2,000 किलोमीटर दूर तक मार कर सकती है. अग्नि प्राइम की एक खासियत यह भी है कि इसे सड़क मार्ग के जरिए एक जगह से दूसरे जगह ले जाना बेहद आसान है. अग्नि प्राइम मिसाइल में ठोस ईंधन का इस्तेमाल होता है.
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Agni Prime: अग्नि-प्राइम मिसाइल का परीक्षण सफल, क्या है इसकी ख़ासियत?