डीएनए हिन्दी: जैविक खेती के लिए देशभर में मशहूर पप्पन सिंह गहलोत का शव बुधवार को दिल्ली के एक मंदिर में लटका मिला है. पुलिस को पहली नजर में यह आत्महत्या का मामला लग रहा है. ध्यान रहे कि कोरोना माहामारी के दौरान लॉकडाउन में फंसे अपने मजदूरों को पप्पन सिंह ने प्लेन से बिहार भेजा था. पप्पन सिंह की इस दरियादिली की पूरे देश में चर्चा हुई थी.
दिल्ली पुलिस ने बताया कि दिल्ली के अलीपुर में पप्पन सिंह के घर सामने बने एक शिवालय में उनका शव पंखे से लटका मिला. पुलिस को घटनास्थल से एक सुसाइड नोट भी मिला है. पप्पन सिंह ने सुसाइड नोट में अपनी बीमारी को खुदकुशी का कारण बताया है. उन्होंने लिखा है कि मैं अपनी बीमारी से परेशान हूं. मैं किसी के ऊपर बोझ नहीं बनना चाहता. ऐसे में मैं अपना जीवन खत्म कर रहा हूं. पुलिस पहली नजर में इसे आत्महत्या का मामला मान रही है.
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पुलिस ने बताया कि पप्पन सिंह के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए बीजेआरएम अस्पताल में रखावाया गया है. पुलिस का कहना है कि अभी तक परिवार वालों ने किसी पर भी शक नहीं जताया है.पुलिस आगे की कार्रवाई कर रही है.
“उम्मीद कभी नहीं छोड़ना चाहिये, क्योंकि जीवन में चमत्कार होना कोई नई बात नही है...”
— Pappan singh gahlot (@GahlotPappan) May 12, 2022
जय श्री राम🙏
बताया जा रहा है कि पप्पन सिंह काफी पॉजिटिव सोच रखते थे. वह एक खुशमिजाज व्यक्तित्व के रूप में जाने जाते थे. उन्होंने न सिर्फ अपने मजदूरों को प्लेन से भेजा था बल्कि जब लॉकडाउन खत्म हुआ तो उन्हें वापस प्लेन से ही मंगवाया था.
पप्पन सिंह के ट्विटर हैंडल पर भी कई ऐसे कोट हैं जो उनके सकारात्मक सोच को दर्शाती है. उन्होंने एक ट्वीट में लिखा है कि 'उम्मीद कभी नहीं छोड़नी चाहिए, क्योंकि जीवन में चमत्कार होना कोई नई बात नही है.' ऐसे में पप्पन की आत्महत्या उनके प्रशंसकों को काफी खल रही है.
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लॉकडाउन में मजदूरों को फ्लाइट से बिहार भेजने वाले मशहूर किसान पप्पन सिंह ने की खुदकुशी