Caste Census: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्रीय कैबिनेट के देश में जाति जनगणना कराने के फैसले को ऐतिहासिक माना जा रहा है. नेता विपक्ष और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी इसे 11 साल बाद उनकी पार्टी की मांग को मानने वाला फैसला बता रहे हैं. उधर, कांग्रेस के एक मुख्यमंत्री ने इस फैसले के लिए प्रधानमंत्री मोदी को धन्यवाद कह दिया है. तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवन्त रेड्डी ने इसे ऐतिहासिक फैसला बताया है. उन्होंने इस फैसले को देश में सामाजिक न्याय की दिशा में एक बड़ा कदम बताते हुए इसका स्वागत किया है. साथ ही यह भी कहा है कि यह तेलंगाना की सोच को राष्ट्रीय मंजूरी मिलने जैसा है. बता दें कि तेलंगाना सरकार अपने यहां जातीय सर्वेक्षण करा चुकी है.
सोशल मीडिया पर लिखा पीएम मोदी को धन्यवाद
तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवन्त रेड्डी ने अपने सोशल मीडिया हैंडल से पीएम मोदी का आभार जताया. उन्होंने लिखा,'तेलंगाना आज जो करता है, भारत कल वो करता है. मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और केंद्रीय मंत्रिमंडल का धन्यवाद करता हूं कि उन्होंने जाति जनगणना की वर्षों पुरानी मांग को स्वीकार किया. यह डेटा आधारित शासन और सामाजिक न्याय की जीत है.'
Based on the vision and direction of
— Revanth Reddy (@revanth_anumula) April 30, 2025
Shri @RahulGandhi Ji who first demanded a nation-wide Caste Census during his historic #BharatJodoYatra Telangana is the first State to conduct caste survey last year.
This was the first in Independent #India, the last one being in 1931 by… pic.twitter.com/7dNABdwqM7
तेलंगाना ने 2024 में कराया था जातीय सर्वेक्षण
तेलंगाना सरकार ने साल 2024 में अपने राज्य में सामाजिक, आर्थिक और जातीय सर्वेक्षण कराया था. उनका दावा है कि यह साल 1931 के बाद देश में पहली बार हुआ जातीय सर्वेक्षण है. हालांकि बिहार में भी नीतीश कुमार सरकार जातीय सर्वेक्षण करा चुकी है, लेकिन तेलंगाना सरकार उसे आधा अधूरा मानती है और उसका दावा है कि तेलंगाना ने ही पूरा सर्वेक्षण कराया है. तेलंगाना सरकार के सर्वे में सामने आया कि राज्य की 56.32% आबादी पिछड़े वर्गों (OBC) की है, जिसके आधार पर सरकार ने शिक्षा, रोजगार और राजनीतिक प्रतिनिधित्व में OBC को 42% आरक्षण देने का प्रस्ताव रखा है.
विपक्षी नेताओं ने भी की थी तेलंगाना सरकार की तारीफ
तेलंगाना सरकार के जातीय सर्वेक्षण कराने के फैसले की सराहना देशभर के कई नेताओं ने की थी, जिनमें उनके विपक्षी भी शामिल थे. हैदराबाद से सांसद और तेलंगाना के विपक्षी दल AIMIM के चीफ असदुद्दीन ओवैसी ने भी रेवन्त रेड्डी सरकार की पहल की सराहना की थी. ओवैसी ने कहा था कि मैं तेलंगाना के मुख्यमंत्री को ऐतिहासिक जाति जनगणना के लिए बधाई देता हूं. यह स्वतंत्र भारत में अपनी तरह की पहली पहल है. ओवैसी ने यह भी कहा कि मुस्लिम समुदाय की सामाजिक-आर्थिक स्थिति और विभिन्न उप-जातियों की स्थिति पर भी पारदर्शी डेटा जुटाना जरूरी है. उन्होंने सरकार से आग्रह किया कि सर्वेक्षण के आंकड़े सार्वजनिक किए जाएं और उन्हीं के अनुरूप नीतियां बनाई जाएं ताकि वंचित वर्गों को उनका हक मिल सके.
The Centre has agreed to include caste data in the upcoming census exercise. This was needed urgently & it was a long-pending demand of many groups. I’d also made the same demand since 2021.
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) April 30, 2025
I congratulate and thank Telangana CM @revanth_anumula garu for his leadership in…
(With Agency Inputs)
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'हमारी सोच पर लगी राष्ट्रीय मुहर' कांग्रेस के सीएम ने Caste Census पर दिया PM Modi को धन्यवाद