डीएनए हिंदी: केंद्र सरकार ने बुधवार को देश के सबसे प्रतिष्ठित अवॉर्ड यानी पद्म सम्मान का ऐलान किया. इसमें कुल 106 लोगों के नाम की घोषणा की गई. गणतंत्र दिवस के मौके पर की गई इस घोषणा में कई गुमनाम नायकों का भी नाम शामिल हैं. इनके बारे में ज्यादातर लोगों के पास जानकारी नहीं है लेकिन यह अपने-अपने क्षेत्र में बड़ा काम कर रहे हैं. इनमें दो ऐसे दोस्तों का नाम भी शामिल है, जिन्होंने सांप पकड़ने के लिए दुनियाभर में नाम कमाया है. अमेरिका ने भी उन्हें सांप पकड़ने के लिए बुलाया था. इनका नाम वदिवेल गोपाल (Vadivel Gopal) और मासी सदइयां (Masi Sadaiyan) है. सरकार ने दोनों को पद्मश्री अवॉर्ड से सम्मानित करने का ऐलान किया है.
वदिवेल गोपाल और मासी सदइयां तमिलनाडु के रहने वाले हैं. दोनों ही सांप पकड़ने में एक्सपर्ट हैं. भारत के अलावा दुनिया के कई देशों में वदिवेल और मासी को सांप पकड़ने के लिए बुलाया जाता है. अमेरिका के फ्लोरिडा में दोनों दोस्तों ने बर्मीज अजगरों को पकड़ने में अंतरराष्ट्रीय टीम की मदद की थी और 25 अजगरों को पकड़ा था. सरकार सरकार भी इस बात को मानती है कि इरुला समुदाय एंवीवेनम के संग्रह में मदद करके भारत के हेल्थकेयर इकोसिस्टम में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है.
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दोनों ने नहीं ली सांप पकड़ने की शिक्षा
वदिवेल गोपाल और मासी सदइयां इरुला जनजाति (Irula Tribe) से आते हैं. जिन्हें जहरीले और खतरनाक सांपों को पकड़ने में महारथ हासिल होती है. कमाल की बात यह है कि उन्होंने इस मामले में कोई पढ़ाई नहीं की है. वदिवेल और मासी अपने पूर्वजों से विरासत में मिले स्वदेशी ज्ञान का उपयोग कर सांपों को पकड़ते हैं.
सरकार ने की 106 नामों की घोषणा
अधिकारियों ने बताया कि पुरस्कार पाने वालों में से कई गुमनाम नायक भी हैं जो चुपचाप समाज और लोगों के कल्याण के लिए काम कर रहे हैं और जिन्हें नरेंद्र मोदी सरकार 2014 में सत्ता में आने के बाद से सम्मानित कर रही है. केंद्र सरकार ने इस साल 106 पद्म सम्मानों का ऐलान किया है. इनमें 6 पद्म विभूषण, 9 पद्म भूषण और 91 पद्म श्री अवॉर्ड विजेताओं का नाम है. इन विजताओं में 19 महिलाएं भी शामिल हैं. यह सम्मान पाने वाले लोगों में एक कृषि वैज्ञानिक भी शामिल हैं.
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पद्म भूषण विजेता
- मशहूर कन्नड़ लेखक एसएल भैरप्पा. इन्होंने रचनाओं का 14 से अधिक भाषाओं में अनुवाद किया.
- मशहूर गायिका वाणी जयराम. 8 भाषाओं में 20,000 से अधिक गीतों में दी अपनी आवाज.
- तेलंगाना के वैदिक विद्वान और आध्यात्मिक नेता स्वामी चिन्न जीयर
- दिल्ली के प्रोफेसर कपिल कपूर को भी चुना गया.
पद्म श्री विजेता
- सांप पकड़ने वाले दो दोस्त वदिवेल गोपाल और मासी सदइयां.
- लड़कियों को वैदिक शिक्षा प्रदान करने वाले आर्य समाज आध्यात्मिक नेता सुकमा आचार्य.
- सेवानिवृत्त सेना चिकित्सक और पिछले 50 वर्षों से जबलपुर में वंचित लोगों का इलाज कर रहे मुनीश्वर चंदावर.
- रेशम के कपड़े पर संस्कृत में भगवद गीता की बुनाई के लिए मशहूर असम की हेमप्रभा चुटिया
- बिहार की 87 वर्षीय कलाकार सुभद्रा देवी और कर्नाटक के खादर वल्ली दुदेकुला को भी चुना गया.
- दुदेकुला को 5 प्रकार के बाजरा को बचाने के लिए दिया गया.
- गुजरात के अरीज खंबाटा (मरणोपरांत) ने पेय रसना का उत्पादन करने के लिए.
- हेम चंद्र गोस्वामी मुखौटा बनाने की असम की सदियों पुरानी संस्कृति को संरक्षित रखने के लिए.
- अहमद हुसैन और मोहम्मद हुसैन की गजल गायक जोड़ी.
- उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद में पीतल नक्काशी के विशेषज्ञ शिल्पकार दिलशाद हुसैन.
- त्रिपुरा के सामाजिक कार्यकर्ता बिक्रम बहादुर जमातिया को भी पद्म श्री के लिए चुना गया.
- वंचित बच्चों को मुफ्त कोचिंग प्रदान करने वाले बिहार के आनंद कुमार को भी इस सम्मान के लिए चुना गया.
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