Supreme Court On Delhi Stampede: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (28 फरवरी) को नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर मची भगदड़ से जुड़ी याचिका को खारिज कर दिया. साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने याचिका दाखिल करने वाले को अदालती समय खराब करने के लिए फटकार भी लगाई है. रेलवे स्टेशन पर भगदड़ कुछ दिन पहले महाकुंभ के दौरान मची थी, जब संगम स्नान के लिए जाने वालों की भारी भीड़ अचानक रेलवे प्लेटफॉर्म पर पहुंच गई थी. इस भगदड़ में 18 लोगों की मौत की पुष्टि की गई थी, लेकिन सुप्रीम कोर्ट में जनहित याचिका लेकर पहुंचे व्यक्ति ने कम से कम 200 लोगों की जान चली जाने का दावा किया है. साथ ही सुप्रीम कोर्ट से ऐसे मामलों में भीड़ को कैसे काबू किया जाए, इस बारे में अधिकारियों को गाइडलाइंस जारी करने का भी आग्रह किया था. हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इस याचिका पर विचार करने से इनकार करते हुए याचिकाकर्ता से ऐसा सवाल पूछ लिया कि उनकी बोलती ही बंद हो गई.
'क्या है 200 लोगों की मौत का सबूत'
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ से जुड़ी याचिका जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस पीके मिश्रा की बेंच के सामने रखी गई. बेंच ने इस याचिका को पढ़ने के बाद उस पर सवाल खड़ा किया. बेंच ने याचिकाकर्ता के वकील से पूछा,'क्या 200 लोगों की मौत होने का कोई सबूत है?' वकील ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपलोड किए गए रेलवे स्टेशन पर मची भगदड़ के वीडियोज का हवाला दिया. इस पर पीठ ने पूछा कि क्या संबंधित अधिकारी इस मुद्दे की अनदेखी कर रहे हैं. इस पर वकील ने कहा कि वे याचिका राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन कानून को सही तरीके से अमल करने और भीड़ को कंट्रोल करने से जुड़े नियमों को लागू करने के लिए दायर की गई है.
बेंच ने हाई कोर्ट जाने की दी सलाह
बेंच ने याचिकाकर्ता के वकील की दलील सुनने के बाद याचिका को सुनवाई के योग्य नहीं माना और खारिज कर दिया. हालांकि बेंच ने उन्हें अपनी शिकायत दिल्ली हाई कोर्ट के सामने रखने की सलाह दी है. याचिकाकर्ता के वकील ने नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ के समय मौजूद गवाहों को रेलवे की तरफ से नोटिस जारी किए जाने का मुद्दा उठाया. सुप्रीम कोर्ट बेंच ने इसके लिए संबंधित लोगों को हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाने की सलाह दी है.
क्या थी रेलवे स्टेशन पर भगदड़ की घटना
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर 15 फरवरी की रात करीब 9 बजे अचानक भगदड़ मच गई थी. यह भगदड़ प्लेटफॉर्म नंबर 14 पर मची थी, जहां दो ट्रेनों के देरी से चलने और दो ट्रेनों के पहुंचने का समय हो जाने के कारण चारों ट्रेनों से सफर करने वाले हजारों लोगों की भीड़ जमा हो गई थी. इनमें से अधिकतर यात्री प्रयागराज महाकुंभ में जा रहे थे. भगदड़ मचने पर बहुत सारे लोग कुचले जाने के कारण घायल हो गए थे. इनमें से कई की मौत अस्पतालों में इलाज के दौरान हो गई थी. प्रशासन ने आधिकारिक तौर पर 18 लोगों की मौत होने की पुष्टि की थी, लेकिन याचिकाकर्ता का दावा है कि वहां कम से कम 200 लोगों की मौत हुई है.
(With PTI-Bhasha Inputs)
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Delhi Stampede में 200 लोगों की मौत का दावा, सुप्रीम कोर्ट ने पूछ लिया ऐसा सवाल, बोलती हो गई बंद