ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन (Boris Johnson) दो दिवसीय दौरे पर भारत पहुंचे हैं. दौरे के पहले दिन उन्होंने गुजरात के साबरमती आश्रम में महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी और उनके सम्मान में गेस्ट बुक में एक नोट शेयर किया. दौरे के दूसरे दिन उन्होंने दिल्ली स्थित प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से हैदराबाद भवन में मुलाकात की. तस्वीरों में देखिए कैसा रहा बोरिस जॉनसन का भारत दौरा.
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके ब्रिटिश समकक्ष बोरिस जॉनसन ने भारत और ब्रिटेन के बीच बहुआयामी संबंधों को और प्रगाढ़ बनाने के लिए शुक्रवार को बातचीत की. बातचीत की शुरुआत से पहले पीएम मोदी ने हैदराबाद हाउस के प्रांगण में जॉनसन का स्वागत और अभिवादन किया.
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दोनों नेताओं के बीच हुई बातचीत का मुख्य एजेंडा रक्षा सहयोग और नवीकरणीय ऊर्जा के अलावा व्यापार और आसान वीजा पर चर्चा रहा. दोनों देश एक लंबे और ऐतिहासिक संबंधों के साथ जुड़े हैं, जिसे पिछले साल भारत-यूके वर्चुअल शिखर सम्मेलन के दौरान एक व्यापक रणनीतिक साझेदारी तक बढ़ाया गया था.
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दोनों नेताओं के बीच बहु-आयामी संबंध, व्यापार और अर्थव्यवस्था, स्वास्थ्य, विज्ञान और प्रौद्योगिकी, रक्षा और सुरक्षा, जलवायु परिवर्तन से लेकर बहुपक्षीय मुद्दों पर घनिष्ठ सहयोग जैसे मुद्दों पर चर्चा हुई.
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बोरिस जॉनसन 2019 में ब्रिटिश प्रधानमंत्री बनने के बाद देश की अपनी पहली यात्रा पर गुरुवार को भारत पहुंचे. शुक्रवार की सुबह, राष्ट्रपति भवन में उनका औपचारिक स्वागत और गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया जहां प्रधानमंत्री मोदी ने उनका स्वागत किया.
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ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन अपनी दो दिवसीय भारत यात्रा के तहत बृहस्पतिवार को अहमदाबाद पहुंचे थे. बोरिस जॉनसन ने बृहस्पतिवार को महात्मा गांधी को असाधारण व्यक्ति बताया, जिन्होंने दुनिया को बेहतर बनाने के लिए सत्य और अहिंसा के सिद्धांतों पर बल दिया. जॉनसन साबरमती आश्रम का दौरा करने वाले ब्रिटेन के पहले प्रधानमंत्री बने. साबरमती आश्रम से महात्मा गांधी ने एक दशक से अधिक समय तक ब्रिटिश औपनिवेशिक शासन से स्वतंत्रता के लिए भारत के आंदोलन का नेतृत्व किया था.
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बोरिस जॉनसन ने गांधी आश्रम की गेस्ट बुक में लिखा कि इस असाधारण व्यक्ति के आश्रम में आना और यह समझना कि उन्होंने दुनिया को बेहतर बनाने के लिए किस प्रकार सत्य और अहिंसा के सरल सिद्धांतों पर बल दिया, यह बहुत बड़ा सौभाग्य है. ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने महात्मा गांधी की प्रशंसा की लेकिन स्वतंत्रता संग्राम के दौरान ब्रिटेन के शासक वर्ग से गांधी के लिए ऐसी प्रशंसा दुर्लभ थी.
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अपनी यात्रा के दौरान, जॉनसन हृदय कुंज गए जहां महात्मा गांधी रहते थे. ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने चरखे पर सूत कातने की भी कोशिश की. उन्हें चरखे की प्रतिकृति भी भेंट की गई. बोरिस जॉनसन का यह दौरा बेहद खास रहा. दुनिया ने एक बार फिर देखा जिस महात्मा को जिस देश ने वर्षों तक जेल में रखा उसी की शरण में उसी देश का प्रधानमंत्री नतमस्तक है. यही बापू के सिद्धातों की जीत है.