डीएनए हिंदी: Madhya Pradesh News- देश में गोस्वामी तुलसीदास (Goshwami Tulsidas) की रामचरित मानस पर कई राजनेताओं के कमेंट को लेकर जमकर विवाद (Ramcharitmanas Controvesy) चल रहा है. इस बीच मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chauhan) ने एक बड़ी घोषणा कर दी है. चौहान ने मध्य प्रदेश के स्कूलों में श्रीमद्भगवद गीता, रामचरितमानस और रामायण के प्रसंग पढ़ाए जाने का फैसला लिया है. उन्होंने कहा, इन ग्रंथों में मनुष्य को नैतिक और संपूर्ण बनाने की पूरी क्षमता है. इन पवित्र ग्रंथों की शिक्षा देकर हम अपने बच्चों को पूर्ण भी बनाएंगे और नैतिक भी बनाएंगे.
'राम के बिना नहीं जाना जाता है भारत'
विद्या भारती के सुघोष कार्यक्रम में पहुंचे मुख्यमंत्री शिवराज ने कहा, यह देश राम के बिना नहीं जाना जाता है. राम हमारे रोम-रोम में बसे हैं. इस देश में जब सुख से लेकर दुख तक में राम का ही नाम लिया जाता है. हमारे रामायण हों, महाभारत हों, वेद हों, उपनिषद हों या श्रीमद्भगवद गीता हों, ये हमारे अमूल्य ग्रंथ हैं और इन ग्रंथों में मनुष्य को नैतिक बनाने की मनुष्य को संपूर्ण बनाने की क्षमता है. इन ग्रंथों की शिक्षा हम अपने शासकीय विद्यालयों में भी देंगे. इन पवित्र ग्रंथों की शिक्षा देकर हम अपने बच्चों को पूर्ण भी बनाएंगे और नैतिक भी बनाएंगे. बच्चों को गीता जी का सार पढ़ाएंगे, रामायण जी, रामचरितमानस जी पढ़ाएंगे, महाभारत के प्रसंग पढ़ाएंगे. क्यों नहीं पढ़ाना चाहिए भगवान राम को?
रामायण,महाभारत,वेद,उपनिषद अमूल्य ग्रंथ हैं। इनमें मनुष्य को नैतिक व संपूर्ण बनाने की क्षमता है। इन पवित्र ग्रंथों की शिक्षा देकर हम अपने बच्चों को संपूर्ण व नैतिक बनायेंगे।
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) January 23, 2023
भोपाल में विद्या भारती द्वारा आयोजित 'सुघोष दर्शन' कार्यक्रम में सहभागिता की। https://t.co/buX96znq4W https://t.co/yEwuqAM3Ob pic.twitter.com/KzYCb0z1Ue
रामचरितमानस की चौपाइयों से बताई उसकी महानता
मुख्यमंत्री ने रामचरितमानस को लेकर चल रहे विवाद पर भी टिप्पणी की. उन्होंने रामचरितमानस की चौपाइयों से उसकी महानता बताई. उन्होंने कहा, तुलसीदास जी ने इतना महान ग्रंथ लिखा है, जिसमें लिखा, 'परहित सरिस धर्म नहीं भाई, परपीड़ा सम नहीं अधमाई'. ऐसा ग्रंथ कहीं मिलेगा. 'सिया राम मय सब जग जानी', सब जगह सीताराम हैं. उन्होंने कहा, सृष्टि के कण-कण में भगवान विराजमान हैं, हर एक आत्मा परमात्मा का अंश है, हर एक घट में बस वही समाया हुआ है तो कौन दूसरा है. ऐसा ग्रंथ देने वाले रामचरितमानस जैसे तुलसीदास जी, तुलसी बाबा मैं उनको प्रणाम करता हूं. ऐसे लोग जो हमारे इन महापुरुषों का अपमान करते हैं, वह सहन नहीं किए जाएंगे.
बाबा श्री तुलसीदास जी ने महान ग्रंथ लिखा है श्रीरामचरितमानस, मैं उनको प्रणाम करता हूं। ऐसे लोग जो हमारे इन महापुरुषों का अपमान करते हैं वह सहन नहीं किए जाएंगे।
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) January 23, 2023
मध्यप्रदेश में हमारे बच्चों को इन पवित्र ग्रंथों की शिक्षा देकर नैतिक एवं पूर्ण बनाएंगे। pic.twitter.com/5IpqaEstq9
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इस राज्य के स्कूलों में पढ़ाया जाएगा रामायण और गीता का पाठ, टीचर सिखाएंगे 'राम राम'