डीएनए हिंदी: देश की राजधानी दिल्ली का मुखर्जी नगर इलाका UPSC की कोचिंग के लिए मशहूर है. देशभर के हजारों-लाखों छात्र यहां IAS-IPS बनने का सपना लेकर आते हैं. यहीं पर चाय बेचने वाले एक शख्स ने 50 से ज्यादा लोगों को ठग लिया है. इस आदमी ने खुद IPS अधिकारी बताया था. सरकारी दफ्तरों में काम कराने के नाम पर इस शख्स ने दर्जनों लोगों से लाखों रुपये ठग लिए. अब पुलिस ने इस शख्स को मध्य प्रदेश के ग्वालियर से गिरफ्तार किया है. आरोपी ने सोशल मीडिया पर खुद को IPS विकास दुबे के नाम से प्रचारित कर रखा था.
पुलिस के मुताबिक, आरोपी का नाम विकास यादव (30) उर्फ विकास गौतम है. वहीं 8वीं फेल है और मुखर्जी नगर के पास चाय बेचता है. एक अधिकारी ने बताया कि 2020 बैच के फर्जी आईपीएस अधिकारी (यूपी काडर) ने सभी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर 50 से अधिक व्यक्तियों से 14 लाख रुपये से अधिक की ठगी की. पुलिस ने बताया है कि आरोपी विकास लोगों से पैसे लेकर सरकार विभागों में काम करवाता था. उसने फर्जी आई कार्ड भी बनवा रखे थे.
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इंस्टाग्राम पर हुई दोस्ती और ले लिए 25 हजार रुपये
पुलिस उपायुक्त (बाहरी) हरेंद्र के. सिंह के अनुसार, 17 दिसंबर को बाहरी जिले के साइबर पुलिस थाने में एक मामला दर्ज किया गया था. पीड़िता ने बताया कि इंस्टाग्राम पर आईपीएस अधिकारी विकास यादव की फर्जी आईडी से फेसबुक पर उससे दोस्ती हो गई. कुछ दिनों की बातचीत के बाद उसने 25,000 रुपये जमा करने के लिए कहा था. उसने बताया कि उसे अपनी मां के इलाज के लिए पैसों की जरूरत थी.
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अधिकारी ने कहा, एक पुलिस टीम का गठन किया गया और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर जांच की गई. संदिग्ध ग्वालियर में था. वहां छापे मारे गए और विकास को पकड़ लिया गया. पहले तो उसने किसी भी तरह के अपराध में शामिल होने से इनकार किया. हालांकि, उसके मोबाइल फोन के इंस्टाग्राम, फेसबुक और ट्विटर अकाउंट की जांच करने पर आईपीएस विकास यादव और जीमेल आईडी आईपीएसविकासयादव9@जीमेल डॉट कॉम से लॉग इन पाया गया.
2020 में UPSC पास करने का किया था दावा
विकास साल 2019 में दिल्ली आया था. उसने मुखर्जी नगर में एक कोचिंग के सामने बने होटल में काम करना शुरू किया. यहीं से वह कई प्रतियोगी छात्रों के संपर्क में आया. पुलिस ने बताया कि 2020 में यूपीएससी का रिजल्ट आने के बाद, विकास ने अपने इंस्टाग्राम प्रोफाइल का नाम बदलकर 'विकासदु यादव आईपीएस' कर दिया और यूपीएससी में अपने सेलेक्शन की घोषणा करते हुए 'चयनित उम्मीदवारों की सूची' को अपने इंस्टाग्राम प्रोफाइल पर पोस्ट कर दिया.
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इसके बाद वह उस फर्जी इंस्टाग्राम प्रोफाइल के जरिए कई हाई प्रोफाइल व्यक्तियों के संपर्क में आया. मौजूदा समय में फर्जी इंस्टाग्राम आईडी पर उसके 19,700 फॉलोवर्स हैं. इसके बाद उसने ट्रेनी आईपीएस के तहत अपने शिकारों की पहचान की और उनसे संपर्क किया और उन्हें अपना काम करवाने के लिए प्रभावित किया और उनसे पैसे लेने लगा.
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दिल्ली: मुखर्जी नगर में मिला 8वीं फेल चाय वाला फ्रॉड IPS, 50 से ज्यादा लोगों को लगाया चूना