लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Election 2024) में सात चरणों में वोटिंग होगी और जून में चुनावी नतीजों का ऐलान होगा. बीजेपी, कांग्रेस समेत तमाम पार्टियों ने भी चुनावी बिगुल फूंक दिया है और हर ओर चुनावी गहमा-गहमी नजर आ रही है. बीजेपी के पास पीएम नरेंद्र मोदी का नेतृत्व, राष्ट्रवाद और लाभार्थी योजनाएं जैसे मुद्दे हैं. दूसरी ओर विपक्षी दलों के पास भी महंगाई-बेरोजगारी जैसे जमीनी मुद्दे हैं. चुनाव प्रचार में एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप भी खूब लगने वाले हैं. हर चुनाव को प्रभावित करने वाले कुछ खास फैक्टर होते हैं. जानें इन चुनाव में किन 5 मुद्दों के आसपास चुनाव की धुरी घूमेगी.
राम मंदिर: अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण बीजेपी के मैनिफेस्टो में था और अब यह काम पूरा हो चुका है. लोकसभा चुनाव में बीजेपी इसे अपनी उपलब्धि के तौर पर पेश कर रही है, जबकि विपक्ष इसे राजनीति बता रहा है. हालांकि, इतना तो यह है कि इस बार के चुनाव में राम मंदिर का मुद्दा प्रभावी भूमिका निभाने वाला है.
यह भी पढ़ें: 7 चरणों में होंगे लोकसभा चुनाव, जानिए यूपी के शहरों में कब होगी वोटिंग
आर्टिकल 370: आर्टिकल 370 बीजेपी के लिए शुरुआती दिनों से अहम मुद्दा रहा है. 2019 में सत्ता में वापसी के साथ ही मोदी सरकार ने कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाने का फैसला लिया था. इन चुनावों में बीजेपी इसे राष्ट्रवाद और एक देश एक विधान के अपने वादे के तौर पर पेश कर रही है. दूसरी ओर विपक्ष के पास इसके काट के तौर पर 5 साल बाद भी कोई ठोस तर्क नहीं है.
CAA, NRC और UCC भी निभाएंगे अहम किरदार: चुनाव की तारीखों के ऐलान से ठीक पहले सीएए लागू किया गया है. विपक्षी दल इसे वोट बैंक की राजनीति बता रहे हैं. सीएए लागू करने के साथ ही बीजेपी ने 2024 में सत्ता में आने के बाद यूसीसी और एनआरसी को लेकर भी अपनी मंशा कोर वोटर्स के सामने स्पष्ट कर दी है. विपक्षी दलों के पास इसके विरोध के लिए अपने तर्क हैं, लेकिन इतना तय है कि चुनाव में ये अहम मुद्दा रहेंगे.
यह भी पढ़ें: Lok Sabha Election का हो गया है ऐलान, यहां से डाउनलोड कर लें वोटर आईडी कार्ड
महंगाई और बेरोजगारी: महंगाई और बेरोजगारी दो ऐसे मुद्दे हैं जिनसे आम लोगों का सामना रोज हो रहा है. विपक्ष के पास सरकार को घेरने के लिए ये दो महत्वपूर्ण हथियार हैं. दूसरी ओर मोदी सरकार के पास भी तर्क है कि बेरोजगारी और महंगाई को नियंत्रित करने के लिए कई उपाय किए गए हैं. इसमें फ्री राशन से लेकर स्वरोजगार के लिए चलाई जाने वाली योजनाएं हैं.
नेतृत्व का मुद्दा: इस वक्त बीजेपी के पास नेतृत्व के तौर पर पीएम नरेंद्र मोदी का चेहरा है. बीजेपी की ओर से बार-बार ये सवाल पूछा जा रहा है कि विपक्ष में नेतृत्व का चेहरा कौन है. ऐसे वक्त में देश के मतदाताओं का वोट भी नेतृत्व विकल्प के आधार पर प्रभावित हो सकता है.
डीएनए हिंदी का मोबाइल एप्लिकेशन Google Play Store से डाउनलोड करें.
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर.
- Log in to post comments
दिल्ली में किसको मिलेगी सत्ता, लोकसभा चुनाव में ये 5 मुद्दे तय करेंगे