राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कोलकाता के R G Kar Medical College में लेडी डॉक्टर के साथ हुए रेप और मर्डर पर गहरा दुख जताया है. साथ ही उन्होंने कहा कि कई मामलों में अपराधी बिना किसी डर के घूमते हैं, जबकि पीड़ित डरे सहमे रहते हैं. राष्ट्रपति ने रविवार को एक न्यायिक कार्यक्रम में इस बात की ओर ध्यान आकर्षित किया और लक्षित अपराधों (Intended Crimes) से प्रभावित महिलाओं को समाज से सही सपोर्ट न मिलने पर चिंता जताई है.
पीड़ितों को डर के साथ जीना पड़ता हैं
उन्होंने कहा, 'यह हमारे समाज की एक गंदी सच्चाई है कि कुछ लोग क्राइम के बाद भी बिना किसी डर के बेखौफ घूमते हैं. इसका उलटा, पीड़ितों को ऐसा महसूस होता है जैसे उन्होंने खुद ही कोई क्राइम किया हो.' दिल्ली में हुए 'नेशनल कांफ्रेंस ऑफ डिस्ट्रिक्ट ज्यूडिशरी' में राष्ट्रपति ने पेंडिंग केस की दिक्कतों को न्यायपालिका की एक बड़ी चुनौती बताया और इसके समाधान के लिए सभी पक्षों से एक्टिवली प्रयास की अपील की हैं.
यह हमारे सामाजिक जीवन का एक दुखद पहलू है कि, कुछ मामलों में, साधन-सम्पन्न लोग अपराध करने के बाद भी निर्भीक और स्वच्छंद घूमते रहते हैं। जो लोग उनके अपराधों से पीड़ित होते हैं, वे डरे-सहमे रहते हैं, मानो उन्हीं बेचारों ने कोई अपराध कर दिया हो।
— President of India (@rashtrapatibhvn) September 1, 2024
हेल्थ और शिक्षा की हालात पर ध्यान देना जरुरी
राष्ट्रपति ने कैद में रह रहें उन बाल अपराधियों और उन औरतों के लिए भी चिंता जताई है जिनके बच्चे हैं. उन्होंने कहा कि बच्चों का भविष्य अहम है और उनके हेल्थ और शिक्षा के हालात पर ध्यान देना जरुरी है. उन महिलाओं के बच्चों के सामने उनकी पूरी जिंदगी पड़ी है. ऐसे बच्चों के स्वास्थ्य और शिक्षा के लिए क्या किया जा रहा है, इस विषय पर आकलन और सुधार हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए.'
‘Culture of Adjournment’ से गरीब लोगों को जो कष्ट होता है उसकी कल्पना भी बहुत से लोग नहीं कर सकते। इस स्थिति को बदलने के हर संभव उपाय किए जाने चाहिए। pic.twitter.com/U8ZKClnTcl
— President of India (@rashtrapatibhvn) September 1, 2024
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सुप्रीम कोर्ट का योगदान
उन्होंने इस समस्या के समाधान के लिए ठोस कदम उठाने की जरुरत की बात की है. राष्ट्रपति ने भारत के सुप्रीम कोर्ट के योगदान की तारीफ की और कहा कि जनपद न्यायालयों का न्याय प्रणाली पर अच्छा असर होता है. स्थगन (postponement) की संस्कृति पर टिप्पणी करते हुए, राष्ट्रपति ने कहा कि इससे गरीबों को जो दिक्कत का सामना पड़ता है, उसकी गंभीरता को समझना मुश्किल है.
महिलाओं की बढ़ती संख्या पर जताई खुशी
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने न्यायपालिका में महिलाओं की बढ़ती संख्या पर खुशी जताई. राष्ट्रपति ने कहा, 'मुझे बहुत खुशी है कि हाल के कुछ सालों में न्यायपालिका में महिलाओं की संख्या बढ़ी है. कई राज्यों में न्यायिक अधिकारियों में महिलाओं की संख्या 50 प्रतिशत से अधिक हो गई है. मुझे आशा है कि न्यायपालिका से जुड़े सभी लोग महिलाओं के प्रति पुरानी और नकारात्मक सोच से मुक्त होकर अच्छे विचार, व्यवहार और भाषा का उदाहरण पेश करेंगे.' इसके साथ ही उन्होंने स्थानीय भाषाओं की अहमियत बताते हुए कहा कि अगर न्याय स्थानीय भाषाओं और हालात को ध्यान में रखकर दिया जाए, तो न्याय सबके दरवाजे तक पहुंचाया जा सकता है.
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राष्ट्रपति Draupadi Murmu ने महिला डॉक्टर के रेप-मर्डर पर जताया दुख, न्याय प्रणाली में की सुधार की अपील