पंजाब और हरियाणा के किसानों 21 फरवरी से दिल्ली कूच का ऐलान किया है. 19 फरवरी को केंद्र और किसान संगठनों के बीच हुई चौथे दौर की बातचीत भी बेनतीजा रही. कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि MSP पर किसानों ने सरकार का प्रस्ताव ठुकरा दिया है. मैं किसानों से अपील करता हूं कि शांति बनाए रखें. हमें चर्चा से ही इन मुद्दों का समाधान निकालना होगा.
अर्जुन मुंडा ने कहा कि सरकार किसान से हर मुद्दे पर चर्चा करने रहना चाहती है. हम सभी शांति चाहते हैं और मिलकर ही इन मुद्दों का समाधान निकालेंगे. हमने सरकार की ओर से चर्चा करने की कोशिश की और कई प्रस्ताव रखे. लेकिन किसान संगठनों को पंसद नहीं आए. हम आगे भी ऐसी चर्चा जारी रखेंगे. कृषि मंत्री ने कहा कि फिलहाल किसानों के शांति बनाए रखनी चाहिए.
सरकार के प्रस्ताव पर क्या बोला SKM?
संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) ने केंद्र के एमएसपी प्रस्ताव को किसान नेताओं द्वारा खारिज किए जाने और 'दिल्ली चलो' आंदोलन के फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि यह सही दिशा में उठाया गया कदम है और इससे देशभर के किसानों में अधिक एकता सुनिश्चित होगी.
#WATCH | Farmer leaders reject the Government's proposal over MSP | Union Minister Arjun Munda says, "I would appeal to the farmers and the farmers organisations which are connected with this (protest) to maintain peace. We have to take it forward from discussion to solutions...… pic.twitter.com/WDvqIb38EQ
— ANI (@ANI) February 20, 2024
साल 2020-21 में किसान आंदोलन का नेतृत्व करने वाले एसकेएम ने किसान संगठनों से 21 फरवरी को बीजेपी के विधायक और सांसदों के आवास का घेराव करने और उनके सामने विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया है.
MSP पर क्या दिया था प्रस्ताव?
'दिल्ली चलो' आंदोलन में भाग लेने वाले किसान नेताओं ने सोमवार को सरकारी एजेंसियों द्वारा 5 साल के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर दालों, मक्का और कपास की खरीद के केंद्र के प्रस्ताव को खारिज कर दिया और कहा कि यह किसानों के हित में नहीं है. किसान नेताओं ने घोषणा की कि वे बुधवार को राष्ट्रीय राजधानी की ओर कूच करेंगे.
पंजाब के प्रदर्शनकारी किसान 13 फरवरी से हरियाणा के साथ लगती राज्य की सीमा पर शंभू और खनौरी में डेरा डाले हुए हैं. पुलिस ने उस दिन उनके दिल्ली चलो आंदोलन को रोक दिया था. मार्च का आह्वान किसानों की मांगों पर दबाव डालने के लिए एसकेएम से अलग हुए समूह एसकेएम (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा द्वारा किया गया था.
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'शांति बनाए रखें, चर्चा से निकलेगा समाधान', कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा की किसानों से अपील