Delhi Election: दिल्ली विधानसभा चुनावों (Delhi Assembly Election) के लिए प्रचार जोरों पर है, जहां सभी प्रमुख दल अपनी राजनीतिक ताकत दिखाने में लगे हैं. दिल्ली की राजनीति में एक सवाल हमेशा से उठता आया है कि दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री कौन थीं? आज हम आपको इस सवाल का जवाब से अवगत करा देते हैं. इन्होंने न सिर्फ दिल्ली की राजनीति में एक मजबूत पहचान बनाई, बल्कि भारतीय और वैश्विक राजनीति में भी अपनी अमिट छाप छोड़ी है.

दिल्ली का पहला मुख्यमंत्री
दरअसल, दिल्ली को अपना पहला मुख्यमंत्री 1952 में चौ. ब्रह्म प्रकाश यादव के रूप में मिला.वह एक स्वतंत्रता सेनानी थे. लेकिन दिल्ली के राजनीतिक इतिहास में एक अहम मोड़ तब आया, जब 1998 में दिल्ली को पहली महिला मुख्यमंत्री मिली. उनका यह सफर उन समय के लिए विशिष्ट था. उस दौरान महिलाओं को सत्ता की ऊंची सीढ़ियों तक पहुंचना आसान नहीं था.

मुख्यमंत्री बनने का अवसर 
लोगों में एक आम धारणा बनी रहती है कि दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री शीला दीक्षित रही हैं, लेकिन यह सच नहीं है. भाजपा के बड़े नेता और देश के पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री बनीं थीं. सुषमा स्वराज को दिल्ली की मुख्यमंत्री बनने का अवसर तब मिला जब दिल्ली के तत्कालीन मुख्यमंत्री साहिब सिंह वर्मा ने प्याज की कीमतों में असामान्य वृद्धि के बाद इस्तीफा दे दिया था. यह एक चुनावी समय था, और ऐसे में बीजेपी ने सुषमा स्वराज को दिल्ली की कमान सौंपने का निर्णय लिया.

सुषमा स्वराज की मुख्यमंत्री पद पर सीमित अवधि
हालांकि सुषमा स्वराज को दिल्ली की मुख्यमंत्री के रूप में केवल 52 दिन का समय मिला, लेकिन इस छोटे से कार्यकाल में ही उन्होंने अपनी कड़ी मेहनत और निर्णय क्षमता से सभी को प्रभावित किया. उनका यह कार्यकाल भले ही छोटा था, लेकिन उनके द्वारा किए गए सुधारों और निर्णयों ने उन्हें राजनीति में एक मजबूत नाम दिलाया. हालांकि, विधानसभा चुनावों में बीजेपी को हार का सामना करना पड़ा, लेकिन सुषमा स्वराज की भूमिका ने उन्हें एक जानी-पहचानी राजनीतिक शख्सियत बना दिया.


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मंगल ग्रह से भी सुरक्षित वापसी सुनिश्चित
सुषमा स्वराज, एक ऐसी विदेश मंत्री थीं, जिन्होंने मंत्रालय को आम लोगों का विभाग बना दिया. उनकी कार्यशैली सहज और सरल थी. सुषमा स्वराज ने भारतीय राजनीति में जो स्थान हासिल किया, वह अनमोल है. 41 वर्षों का उनका राजनीतिक सफर कई सफलताओं से भरपूर था. सुषमा स्वराज भारतीय जनता पार्टी की प्रमुख नेता और उत्कृष्ट वक्ता थीं.उनका ट्विटर अकाउंट आज भी उनके कार्यों और विचारों की झलक देता है, जैसे कि यूक्रेन संकट के दौरान उनके द्वारा किया गया एक ट्वीट, जिसमें उन्होंने कहा था कि 'अगर कोई भारतीय मंगल ग्रह पर भी फंसा होगा, तो विदेश मंत्रालय उसकी सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करेगा.'


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देश की सबसे युवा कैबिनेट मंत्री
सुषमा स्वराज का देश और अंतर्राष्ट्रीय राजनीति के प्रति गहरा दृष्टिकोण उन्हें भारतीय राजनीति का एक अहम हिस्सा बनाता है. उनकी उपलब्धियों में हरियाणा की सबसे कम उम्र की कैबिनेट मंत्री बनने का रिकॉर्ड और दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री का सम्मान भी शामिल है.

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कौन थीं दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री, देश-विदेश में छोड़ी अमिट छाप, भारत की
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कौन थीं दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री, देश-विदेश में छोड़ी अमिट छाप, भारत की सबसे युवा कैबिनेट मंत्री का गौरव भी प्राप्त
 

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