डीएनए हिंदी: कोरोना वायरस (Corona Virus) संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने शुक्रवार को राज्यों के स्वास्थ्य मंत्रियों के साथ एक समीक्षा बैठक की. इसमें राज्यों से सतर्क रहने और कोविड-19 प्रबंधन से जुड़ी तैयारियों को परखने के लिए कहा गया. मांडविया ने राज्यों को कोविड संक्रमण के अधिक मामलों वाले स्थानों की पहचान करने, जांच बढ़ाने, बुनियादी ढांचा तैयारियां सुनिश्चित करने के लिए कहा है. इस बैठक में राज्यों को 10 और 11 अप्रैल को सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर मॉक ड्रिल करने को कहा गया है.
राज्य के स्वास्थ्य मंत्रियों, प्रमुख एवं अतिरिक्त मुख्य सचिवों के साथ डिजिटल तौर से आयोजित हुई बैठक में मनसुख मांडविया ने टीकाकरण में तेजी लाने को भी कहा. उन्होंने जीनोम अनुक्रमण और पॉजिटिव नमूनों के पूरे जीनोम अनुक्रमण को बढ़ाने पर जोर दिया. साथ ही कहा कि वह कोविड वायरस को लेकर पालन करने के बारे में जागरूकता पैदा करें. मांडविया ने कहा कि केंद्र और राज्यों को सहयोग की भावना से काम करना जारी रखने की जरूरत है, जैसा कि पिछली बार कोविड-19 की रोकथाम और प्रबंधन के दौरान किया गया था.
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10 और 11 अप्रैल को पूरे देश में मॉक ड्रिल
उन्होंने राज्य के स्वास्थ्य मंत्रियों से 10 और 11 अप्रैल को सभी अस्पतालों के बुनियादी ढांचे के संबंध में मॉक ड्रिल करने के लिए कहा. साथ ही राज्यों के स्वास्थ्य मंत्रियों से 8 और 9 अप्रैल को जिला प्रशासन और जन स्वास्थ्य अधिकारियों के साथ तैयारियों की समीक्षा करने का अनुरोध किया. स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सूचित किया गया कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) इस समय एक वेरिएंट ऑफ इंटरेस्ट (VoI), एक्सबीबी.1.5 और 6 अन्य स्वरूपों (बीक्यू.1, बीए.2.75, सीएच.1.1, एक्सबीबी, एक्सबीएफ और एक्सबीबी.1.16) पर बारीकी से नजर रख रहा है. बयान में कहा गया है कि एक्सबीबी.1.16 का प्रसार फरवरी में 21.6 प्रतिशत से बढ़कर मार्च, 2023 में 35.8 प्रतिशत हो गया.
देश में कोविड-19 की स्थिति को लेकर राज्यों एवं UTs के स्वास्थ्य मंत्रियों के साथ समीक्षा बैठक की। इस दौरान कोविड टेस्टिंग एवं जीनोम सीक्वेंसिंग के साथ कोविड नियमों के पालन का प्रसार बढ़ाने पर बात हुई।
— Dr Mansukh Mandaviya (@mansukhmandviya) April 7, 2023
हमें सतर्क रहना है और अनावश्यक भय नहीं फैलाना है। pic.twitter.com/vSmOV9qr80
हालांकि, अस्पताल में भर्ती होने या मृत्यु दर में वृद्धि का कोई साक्ष्य सामने नहीं आया है. मांडविया ने कहा कि नए स्वरूप के बावजूद, कोविड प्रबंधन के लिए जांच, पता लगाने, इलाज, टीकाकरण और कोविड-उपयुक्त व्यवहार का पालन’ की जांची-परखी रणनीति बनी हुई है. उन्होंने कहा कि इससे उचित स्वास्थ्य उपायों को अपनाने में मदद मिलेगी. राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को आरटी-पीसीआर जांच बढ़ाने की सलाह दी गई. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सभी पात्र आबादी, विशेष रूप से बुजुर्गों और संवेदनशील जनसंख्या समूह के टीकाकरण में तेजी लाने की सलाह दी.
इन राज्यों में बढ़ रहे मामले
इस बात पर भी गौर किया गया कि भारत में 8 राज्यों से कोविड के अधिक मामले सामने आ रहे हैं, जिनमें केरल, महाराष्ट्र और दिल्ली में दस या इससे अधिक जिलों में 10 प्रतिशत संक्रमण दर दर्ज की गई है और कर्नाटक, केरल, महाराष्ट्र, दिल्ली, हिमाचल प्रदेश, तमिलनाडु और हरियाणा में पांच से अधिक जिलों में पांच प्रतिशत से अधिक संक्रमण दर दर्ज की गई है. मांडविया ने कोविड-उपयुक्त व्यवहार के पालन के संबंध में जन जागरूकता अभियानों को बढ़ाने के महत्व पर बल दिया. उन्होंने सभी राज्य स्वास्थ्य मंत्रियों से अनुरोध किया कि वे व्यक्तिगत रूप से सभी बुनियादी ढांचे की तैयारियों की निगरानी और समीक्षा करें. (भाषा इनपुट के साथ)
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कोरोना को लेकर केंद्र सरकार सख्त, राज्यों को सतर्क रहने की दी चेतावनी, पूरे देश में 10-11 अप्रैल को मॉक ड्रिल