जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (PDP) की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने महबूबा मुफ्ती ने रविवार को संभल की घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया और भारत में अल्पसंख्यकों की स्थिति की तुलना बांग्लादेश से की. जम्मू और कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री ने मस्जिदों और धर्मस्थलों पर हाल ही में किए गए दावों पर भी चिंता व्यक्त की. उन्होंने केंद्र पर निशाना साधते हुए कहा कि युवाओं को नौकरी नहीं दी जाती बल्कि सरकार मंदिर-मस्जिद तलाशने में वक्त निकालती है.
'1947 वाली स्थिति की तरफ ले जाया जा रहा'
मुफ्ती ने जम्मू में संवाददाताओं से बातचीत में कहा, 'आज, मुझे डर है कि जो स्थिति 1947 के दौरान थी, हमें उसी दिशा में ले जाया जा रहा है. जब युवा नौकरियों की बात करते हैं, तो वो उन्हें नहीं मिलती. हमारे पास अच्छे अस्पताल, शिक्षा नहीं है. वे सड़कों की स्थिति में सुधार नहीं कर रहे हैं, बल्कि मंदिर की तलाश में मस्जिद को ध्वस्त करने की कोशिश कर रहे हैं. संभल की घटना बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है. कुछ लोग दुकानों में काम कर रहे थे और उन्हें गोली मार दी गई.'
'भारत-बांग्लादेश में कोई अंतर नहीं'
अजमेर शरीफ दरगाह को लेकर उठे विवाद पर टिप्पणी करते हुए मुफ्ती ने कहा, 'अजमेर शरीफ दरगाह, भाईचारे की सबसे बड़ी मिसाल है, वहां सभी धर्मों के लोग प्रार्थना करते हैं. अब वे मंदिर खोजने के लिए उसमें खुदाई करने की कोशिश कर रहे हैं.' बांग्लादेश में हिंदुओं पर कथित अत्याचारों के बारे में मुफ्ती ने कहा, 'बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार हो रहे हैं. अगर भारत में भी अल्पसंख्यकों पर अत्याचार होंगे, तो फिर भारत और बांग्लादेश में क्या अंतर है? मुझे भारत और बांग्लादेश में कोई अंतर नहीं लगता.' बता दें बांग्लादेश में अल्पसंख्यक समुदायों के खिलाफ हिंसा बढ़ रही है. वहां लगातार पुजारियों और मंदिरों पर हमला किया जा रहा है.
VIDEO | “... The situation in the country is not good. Our leaders Mahatma Gandhi ji, BR Ambedkar, Maulana Azad, and others have made this country a home of everyone -Hindu, Muslim, Sikh, and Isai. However, the situation in the country is different. When the youth demanded jobs… pic.twitter.com/yBCGlFJ25I
— Press Trust of India (@PTI_News) December 1, 2024
बांग्लादेश पर चिंता
अंतर्राष्ट्रीय समुदाय ने इस स्थिति पर चिंता व्यक्त की है. भारत के विदेश मंत्रालय ने कहा है कि वह बांग्लादेश में हिंदुओं और अन्य अल्पसंख्यक समूहों की सुरक्षा को लेकर 'चिंतित' है. वहीं, उत्तर प्रदेश के संभल में अदालत के निर्देश पर मुगलकालीन मस्जिद के सर्वेक्षण के दौरान भीड़ ने पुलिस के साथ झड़प की थी. सर्वेक्षण के कुछ घंटों बाद हुई हिंसा में चार लोग मारे गए थे और पुलिसकर्मियों और अधिकारियों सहित दर्जनों लोग घायल हो गए थे.
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भारत की बांग्लादेश से तुलना कर महबूबा मुफ्ती बोलीं- 1947 वाले हालातों की तरफ ले जाया जा रहा