Who Was Ismail Haniyeh: इजरायल और हमास के बीच गाजा में 9 महीने से चल रही भयंकर लड़ाई के बीच एक बड़ी खबर सामने आई है. हमास के राजनीतिक मुखिया इस्माइल हानिया की बुधवार को ईरान की राजधानी तेहरान में हत्या कर दी गई है. हमास ने अपने मुखिया की मौत की पुष्टि कर दी है. हानिया की हत्या अज्ञात हमलावरों ने उस घर पर हमले में की है, जिसमें ईरान के राष्ट्रपति के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने पहुंचे हानिया ठहरे हुए थे. हानिया के साथ उनका बॉडीगार्ड भी मारा गया है. हानिया की हत्या का आरोप इजरायली सेना की इजरायल डिफेंस फोर्स (IDF) और खुफिया एजेंसी मोसाद पर लगाया गया है, आइए आपको बताते हैं दुनिया की सबसे घातक फोर्स रखने वाले इजरायल को चुनौती देने वाले इस्माइल हानिया कौन थे.
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शरणार्थी शिविर में जन्म से टॉप पोस्ट तक
गाजा पट्टी के शाती फिलीस्तीनी शरणार्थी शिविर में 29 जनवरी, 1962 को जन्मे हानिया अलग फिलीस्तीन देश की मांग वाले आंदोलन को देखते हुए बड़े हुए थे. गाजा की इस्लामिक यूनिवर्सिटी से अरब साहित्य में ग्रेजुएशन करने के दौरान हानिया हमास से पहले मुस्लिम ब्रदरहुड से जुड़े और उसकी छात्र परिषद के प्रमुख बन गए.
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1989 में हमास से जुड़ने पर चर्चा में आए हानिया
अबू-अल-अब्द नाम से पहचाने जाने वाले हानिया की असली पॉलिटिक्ल प्रोग्रेस 1989 में शुरू हुई, जब हमास से जुड़ाव के लिए इजरायल ने उन्हें कैद कर लिया और मार्ज-अल-जुहूर भेज दिया. इजरायल-लेबनान के बीच मौजूद इस नो-मेंस लैंड पर हानिया करीब एक साल तक हमास के कई सीनियर नेताओं के साथ रहे. वापस लौटने पर हमास में उन्हें तवज्जो मिलने लगी. इससे उन्हें हमास आंदोलन के आध्यात्मिक नेता शेख अहमद यासीन के करीब आने का मौका मिला. 1997 में उन्हें यासीन का कार्यालय प्रमुख नियुक्त करने पर उनकी हैसियत और ज्यादा बढ़ गई.
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हमास को चुनावी जीत मिलने पर बने प्रधानमंत्री
साल 2006 में हमास को गाजा में चुनावी जीत मिलने पर हानिया 16 फरवरी, 2006 को फिलीस्तीनी प्राधिकरण की 10वीं सरकार के प्रधानमंत्री बने. हालांकि एक साल बाद इज-अल-दीन अल-कासम ब्रिगेड के गाजा पट्टी पर कब्जा करने के बाद हानिया को पद से बर्खास्त कर दिया गया. करीब एक हफ्ता चली इस लड़ाई में कई लोग मारे गए थे. हालांकि हानिया ने अपनी बर्खास्तगी को असंवैधानिक बताते हुए अपनी सरकार के कामकाज जारी रखने का ऐलान किया था. इससे गाजा पट्टी में हमास का पूरी तरह कब्जा हो गया, जबकि उसका प्रतिद्वंद्वी संगठन फतह गाजा से हटकर वेस्ट बैंक तक ही सीमित हो गया. हालांकि इजरायल के साथ मौजूदा लड़ाई के दौरान हानिया लगातार हमास और फतह के बीच सुलह कराने की कोशिश में जुटा था.
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2018 में घोषित किया गया हानिया को आतंकी
इस्माइल हानिया को हमास ने 6 मई, 2017 को अपना राजनीतिक मुखिया चुना था. हमास के पॉलिटिक्ल ब्यूरो का हेड बनने के बाद 2018 में अमेरिका ने हानिया को आतंकवादी घोषित किया था. इजरायल की खुफिया एजेंसी से बचाव के लिए हानिया फिलहाल कतर में रह रहा था.
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इजरायल पर हमले का मास्टरमाइंड
हानिया को पिछले साल 7 अक्टूबर को इजरायल में हमास आतंकियों के बड़े पैमाने पर हुए हमले का मास्टरमाइंड माना जाता रहा है. इस हमले में करीब 1,200 इजरायली नागरिक मारे गए थे और 250 से ज्यादा को हमास आतंकी अगवा करके ले गए थे. इसके बाद ही इजरायल-हमास की लड़ाई शुरू हुई है, जिसमें गाजा पर इजरायली हमलों में करीब 30,000 लोग मारे जा चुके हैं.
इजरायल ने तीन महीने पहले मार दिए थे तीनों बेटे
इजरायल ने तीन महीने पहले हानिया के तीनों बेटों को मार दिया था. अप्रैल, 2024 में इजरायल ने गाजापट्टी पर एयरस्ट्राइक के दौरान एक कार पर मिसाइल दागी थी. इजरायली सेना की IDF ने बताया था कि कार में हानिया के तीन बेटे आमिर, हाजेम और मोहम्मद थे, जिनकी मौत हो गई है. तीनों गाजा में आतंकी हमला करने जा रहे थे. हालांकि हमास ने दावा किया था कि हानिया के बेटों के साथ उसकी तीन पोते-पोतियां और ड्राइवर भी इजरायली हमले में मारे गए हैं.
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