पाकिस्तान (Pakistan) इस समय सबसे बुरे आर्थिक दौर से गुजर रहा है. आतंकियों को सुरक्षित पनाह देने की वजह से पूरी दुनिया में पाकिस्तान की आलोचना हो रही है. घरेलू और वैश्विक मोर्चे पर संकट का सामना कर रही शहबाज शरीफ की सरकार का पूरा जोर भारत के खिलाफ जहर उगलने में ही लगा है. इधर युद्ध की धमकी दे रहे पड़ोसी देश की अपनी हालत इतनी खराब है कि जरूरी खर्चों के लिए आईएमएफ (IMF) के पास झोली फैला रहा है. पाकिस्तान ने आईएमएफ से 11 हजार करोड़ रुपए की भीख मांगी है. अभी तक वैश्विक संगठन ने इस पर कोई फैसला नहीं लिया है और 9 मई को इस पर फैसला आएगा. पड़ोसी देश में महंगाई अपने चरम पर है और बेरोजगारी की वजह से लोगों के लिए मूलभूत जरूरतें पूरा करना भी मुश्किल हो रहा है.
IMF पाकिस्तान की मांग पर 9 मई को करेगा फैसला
पाकिस्तान की आर्थिक हालत इस वक्त बेहद खराब है और वर्ल्ड बैंक ने चालू वित्तीय वर्ष के लिए आर्थिक विकास का अनुमान 3% से घटाकर 2.6% तक कर दिया है. देश की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए पाक सरकार ने अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) से 11 हजार करोड़ की सहायता मांगी है, जिस पर 9 मई को फैसला होगा. इस बैठक में पाकिस्तान के साथ बेलआउट पैकेज पर चल रही कर्मचारी स्तर के समझौते पर भी चर्चा की जाएगी. अगर यह समझौता हो जाता है, तो पड़ोसी देश के लिए बड़ी मदद होगी. पाकिस्तान को तत्काल समझौते के तहत एक बिलियन डॉलर की मदद दी जाएगी.
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चीन से भी लगाई मदद की गुहार
पाकिस्तान के हुक्मरान भारत को आंखें दिखा रहे हैं, लेकिन शायद अपने देश के हालात भूल गए हैं. स्थिति यह है कि अभी भारत के पड़ोसी देश के लिए खाद्यान्न का संकट बन गया है और पूरी दुनिया में मदद के लिए झोली फैलाए घूम रहा है. आईएमएफ के अलावा चीन से भी मदद की गुहार पाकिस्तान ने लगाई है. पाकिस्तान को भरोसा है कि दोस्त चीन जरूर मदद करेगा.
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पाकिस्तान ने अब IMF के सामने फैलाई झोली
India-Pakistan Tension: भारत को आंखे दिखा रहा Pakistan ने अब IMF से मांगी भीख, 11,000 करोड़ मांगे