डीएनए हिंदी: न्यूजीलैंड के एक द्वीप पर करीब 500 पायलट व्हेल मारी गई हैं. सरकार ने खुद यह जानकारी दी साथ ही इस पायलट व्हेल की मौत की वजह बताई. दरअसल इस द्वीप पर शार्क के हमले का खतरा रहता है. इस वजह से इन पायलट व्हेल के रेस्क्यू के लिए कोई ऑपरेशन भी नहीं चलाया जा सका. क्योंकि इन्हें बचाने के चक्कर में कई लोगों की जान भी जा सकती थी.
सरंक्षण विभाग ने बताया कि दो द्वीपों पर पायलट व्हेल के बड़े झुंड बहकर आए थे. इनमें से कई ऐसी थीं जो पहले ही मर चुकी थीं और बाकी बची मछलियों को बचाने के लिए उन्हें मारना ही एक विकल्प था. अधिकारियों का कहना था कि दोनों द्वीप न्यूजीलैंड के मुख्य द्वीप से दूर हैं इसलिए रेस्क्यू ऑपरेशन बहुत मुश्किल था.
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टेक्निकल मरीन एडवाइजर डेव लुंडक्विस्ट ने एएफपी को बताया, इंसानों और व्हेल, दोनों के लिए शार्क का खतरा था. इसलिए हमारी प्रशिक्षित टीम ने पायलट व्हेल को मृत्युदान दिया ताकि उन्हें पीड़ा ना झेलनी पड़े. उन्होंने कहा कि यह फैसला लेना आसान नहीं था लेकिन उनके पास दूसरा विकल्प नहीं था. इसके बाद व्हेल मछलियों को वहीं पर छोड़ दिया गया ताकि उनका शरीर प्राकृतिक तौर से ही खत्म हो जाए. बता दें कि ऐसी घटना पहली बार नहीं हुई है. इससे पहले साल 1918 में एक हजार व्हेल मछलियां बीच पर बहकर आ गई थीं.
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न्यूजीलैंड में मारी गईं 500 व्हेल मछलियां, शार्क की वजह से कोई नहीं कर पाया मदद