Mahavir Jayanti 2024: भगवान महावीर स्वामी जैन धर्म के 24वें और अंतिम तीर्थंकर थें. जैन धर्म में महावीर स्वामी की पूजा की जाती है. उनका बहुत ही विशेष महत्व है. महावीर जी का जन्म हिंदू पंचांग के अनुसार, चैत्र मास की शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को हुआ था. इस दिन को महावीर जयंती (Mahavir Jayanti) के रूप में मनाया जाता है. आइये आपको बताते हैं कि, महवीर जयंती इस बार कब (Mahavir Jayanti Date) है और इसका क्या महत्व है.
महावीर जयंती की तारीख
महावीर स्वामी का जन्म 599 ईसा पूर्व हुआ था. यह उनका 2622वां जन्मदिवस होगा. पंचांग के अनुसार, चैत्र माह की शुक्ल पक्ष त्रयोदशी की शुरुआत 20 अप्रैल की रात को 10ः41 पर हो रही है जिसका समापन 22 अप्रैल को दोपहर 1ः11 पर होगा. उदया तिथि को महत्व देते हुए महावीर जयंती 21 अप्रैल को मनाई जाएगी.
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महावीर जयंती का महत्व
महावीर जयंती के दिन जैन धर्म के लोग इस उत्सव को धूम-धाम से मनाते हैं. इस दिन वह धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन करते हैं और भगवान महावीर की पूजा करते हैं. महावीर जी ने ज्ञान की प्राप्ति के लिए कठोर तप किया था. कठोर तप करने के बाद वह वर्धमान से महावीर कहलाएं थे.
जैन धर्म के सिद्धांत
जैन धर्म के पांच प्रमुख सिद्धांत हैं. इनमें सत्य, अहिंसा, अपरिग्रह, अस्तेय और ब्रह्मचर्य शामिल हैं. महावीर जी ने अहिंस का संदेश दिया था. वह सत्य को भी महत्व देते हैं. जीवन में सदा सत्य का पालन करना चाहिए. अपरिग्रह यानी व्यक्ति को लोभी नहीं होना चाहिए. यह भावना संपत्ति, धन और कपड़े की प्राप्ति को दूर करती है. अस्तेय यानी चोरी नहीं करनी चाहिए. यह भी जैन धर्म के सिद्धांत में शामिल है. मन में चोरी का ख्याल भी नहीं लाना चाहिए. महावीर जी ने ब्रह्मचर्य को भी सिद्धांत माना है. इसका अर्थ सात्विक जीवन बिताने से है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. डीएनए हिंदी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
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आज मनाई जाएगी महावीर जयंती, जानें इसका महत्व और भगवान महावीर के पांच सिद्धांत