डीएनए हिंदी: कांग्रेस (Congress) नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने कहा है कि नए संसद भवन का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) को नहीं करना चाहिए. उन्होंने कहा है कि संसद भवन का उद्घाटन, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को करना चाहिए.
नए संसद भवन का उद्घाटन 28 मई को होने वाला है. पीएम नरेंद्र मोदी नए संसद भवन का उद्घाटन करेंगे. राहुल गांधी ने कहा कि संसद भवन का उद्घाटन, राष्ट्रपति को करना चाहिए. कांग्रेस, नए संसद भवन को पीएम मोदी का वैनिटी प्रोजेक्ट बता रहा है.
क्यों पीएम मोदी के उद्घाटन समारोह का विरोध कर रहा विपक्ष?
कई विपक्षी नेताओं को ऐतराज है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नए संसद भवन का उद्घाटन कर रहे हैं. विपक्ष का कहना है कि पीएम मोदी सरकार के प्रमुख हैं न कि विधायिका के प्रमुख.
क्या कह रहे हैं विरोधी दलों के नेता?
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने सवाल किया है, 'लोकसभा अध्यक्ष और राज्यसभा के सभापति इसका उद्घाटन क्यों नहीं करेंगे. पीएम को संसद का उद्घाटन क्यों करना चाहिए? वह कार्यपालिका के प्रमुख हैं, विधायिका के नहीं. हमारे पास शक्तियों का पृथक्करण है. माननीय लोकसभा स्पीकर और राज्यसभा के सभापति का उद्घाटन कर सकते हैं. यह जनता के पैसे से बनाया गया है, पीएम अपने दोस्तों की तरह व्यवहार क्यों कर रहे हैं. क्या आपने निजी कोष से इसे प्रायोजित किया है?'
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सावरकर हैं विवादित की असली वजह
28 मई को हिंदुत्व विचारक वीडी सावरकर की जयंती है. लोकसभा सचिवालय ने कहा कि स्पीकर ओम बिरला ने इस सप्ताह पीएम मोदी से मुलाकात की और उन्हें नए भवन का उद्घाटन करने के लिए आमंत्रित किया.
नए संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति जी को ही करना चाहिए, प्रधानमंत्री को नहीं!
— Rahul Gandhi (@RahाulGandhi) May 21, 2023
टीएमसी सांसद सुखेंदु शेखर रे ने कहा, '26 नवंबर 2023 राष्ट्र को संसदीय लोकतंत्र का उपहार देने वाला भारतीय संविधान 75वें वर्ष में प्रवेश करेगा, जो नए संसद भवन के उद्घाटन के लिए उपयुक्त होता. लेकिन यह 28 मई सावरकर के जन्मदिन पर किया जाएगा. यह कितना प्रासंगिक है?'
कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने कहा, 'हमारे सभी संस्थापक पिताओं और माताओं का पूर्ण अपमान. गांधी, नेहरू, पटेल, बोस, आदि की पूरी तरह से अस्वीकृति. डॉ. अंबेडकर का घोर खंडन.'
भाकपा महासचिव डी राजा ने कहा, 'प्रधानमंत्री सरकार के प्रमुख हैं, जबकि राष्ट्रपति भारतीय राज्य के प्रमुख हैं और उन्हें उद्घाटन के लिए आमंत्रित नहीं करना, एक घोर अपमान है और उनकी स्थिति को कमजोर करता है.'
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नए संसद भवन की क्या है क्षमता?
नए संसद भवन की आधारशिला 10 दिसंबर, 2020 को रखी गई थी. नई इमारत दोनों सदनों की संयुक्त बैठक की स्थिति में कुल 1,280 सदस्यों के बैठने के लिए उपयुक्त होगी.
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नए संसद भवन के उद्घाटन पर रार, विपक्ष क्यों नहीं चाहता पीएम मोदी करें उद्घाटन?