डीएनए हिंदी: Shariyat law Latest News- गुजरात के पोरबंदर में तीन मुस्लिम युवकों ने जहरीला पेय पीकर जान देने की कोशिश की है. तीनों ने फिनाइल पीने से पहले इंस्टाग्राम पर एक वीडियो अपलोड किया है, जिसमें उन्होंने अपने सुसाइड करने का कारण बताया है. IANS की रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने वीडियो में कहा है कि देश के राष्ट्रीय तिरंगे को सलामी देने पर रोक लगाने वाले एक मौलाना के फतवे को खारिज करने के कारण उन्हें जान देनी पड़ रही है. तीनों का आरोप है कि उन्होंने फतवे को लेकर शरीयत कानून पर कुछ सवाल उठाए थे, जिसके बाद मुस्लिम समुदाय के ही कुछ लोग उन्हें बदनाम करने और समाज से बेदखल कराने की कोशिश कर रहे हैं. तीनों युवकों को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनका इलाज चल रहा है.
मौलाना के फतवे को बताया था गलत
पोरबंदर इलाके में एक मौलाना की ऑडियो क्लिप सोशल मीडिया पर वायरल हुई है, जिसमें मुस्लिमों के लिए तिरंगा झंडे को लेकर एक फतवा दिया गया है. क्लिप में मौलाना हाफिज वासिफ रजा ने कहा है कि तिरंगा झंडा फहराना गलत नहीं है, लेकिन उसे सलामी देना शरीयत के हिसाब से हराम है. स्थानीय गुजराती मीडिया के मुताबिक, मुस्लिम समुदाय के छह लड़कों के पूछने पर मौलाना ने क्लिप को सही बताया. युवकों ने मौलाना की बात को खारिज कर दिया. उन्होंने कहा, पैगंबर ने मुस्लिमों को देशभक्त होने का संदेश दिया है. इसलिए वे गलत बातें फैला रहे हैं. इस बात पर उनकी मौलाना से तनातनी हो गई.
युवकों के खिलाफ दर्ज करा दी गई रिपोर्ट
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, इन युवकों के खिलाफ पोरबंदर की दारुल उलूम गौशे ट्रस्ट के ट्रस्टी यूसुफ मोहम्मद पंजानी ने पुलिस में शिकायत दर्ज करा दी. शिकायत में आबिद, अनवर कादरी, इकबाल अनवर कादरी, समीर यूनुस कादरी, शकील यूनुस कादरी, इम्तियाज हारुन, यूनुस कादरी व अज्ञात लोगों की तरफ से 20 दिन पहले और 2 अगस्त को मौलाना की ऑडियो के खिलाफ दो बार हंगामा करने का आरोप लगाया गया है. साथ ही दारुल उलूम आकर मौलाना वासिफ रजा से मारपीट करने का आरोप है.
केस दर्ज होने से परेशान होकर पीया जहर
इस केस के दर्ज होने के बाद पोरबंदर पुलिस बार-बार युवकों को पूछताछ के लिए बुला रही थी. साथ ही मुस्लिम समुदाय के भी कई लोग उन्हें धमका रहे थे. इससे परेशान होकर शकील यूनुस कादरी, इम्तियाज हारुन और सोहेल इब्राहिम परमार ने इंस्टाग्राम पर वीडियो बनाकर अपलोड किया और फिर जान देने के लिए जहरीला फिनाइल पी लिया. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पोरबंदर के एसपी भगीरथ सिंह जडेजा ने कहा है कि ऑडियो क्लिप की फोरेंसिक जांच कराई जा रही है. उधर, दारुल उलूम गौशे ट्रस्ट के ट्रस्टी पंजानी ने युवकों को गलत बताते हुए उनके द्वारा मौलाना पर झूठे आरोप लगाने का दावा किया है.
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तिरंगे पर नहीं माना मौलाना का फतवा, 3 मुस्लिम लड़कों को पीना पड़ा जहर, जानें पूरी बात