India-Pakistan Conflict: भारत और पाकिस्तान के बीच चल रहे सैन्य संघर्ष में अमेरिका की मध्यस्थता पर सीजफायर हो गया है. अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने इसके बाद दोनों देशों के बीच 1947 से संघर्ष का कारण बने हुए कश्मीर के मुद्दे (Kashmir Issue) को सुलझाने में मध्यस्थता करने की पेशकश की है. ट्रंप के इस ऑफर को भारत ने साफतौर पर खारिज कर दिया है. भारत ने साफ कहा है कि कश्मीर के मुद्दे पर किसी तरह की कोई मध्यस्थता नहीं होगी, क्योंकि इस मुद्दे पर कोई बात नहीं होगी. केवल पाकिस्तानी कब्जे वाले कश्मीर (PoK) को पाकिस्तान से वापस लेने के मुद्दे पर वह बातचीत की टेबल पर बैठ सकता है, लेकिन यह बातचीत भी केवल दोनों देशों के डायरेक्टर जनरल ऑफ मिलिट्री ऑपरेशंस (DGMO) लेवल के अधिकारियों के बीच ही हो सकती है.
आइए आपको 5 पॉइंट्स में यह पूरा मुद्दा और भारत का रिएक्शन समझाते हैं-
1. हम छुएंगे नहीं, अटैक हुआ तो छोड़ेंगे नहीं
न्यूज एजेंसी PTI ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि शनिवार को अमेरिकी उपराष्ट्रपति जेडी वेन्स ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से फोन पर बात की है. पीएम मोदी ने वेन्स से कहा कि हम पाकिस्तान को नहीं छुएंगे, लेकिन यदि उसने अटैक किया तो भारत उसे छोड़ेगा नहीं. उसे बेहद सख्ती से जवाब दिया जाएगा.
2. कश्मीर पर नहीं चाहिए थर्ड पार्टी की एंट्री
न्यूज एजेंसी ANI ने भी अपनी रिपोर्ट में सरकार के इस रुख का जिक्र किया है. रिपोर्ट में सरकारी सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि कश्मीर पर किसी तरह की बात नहीं होगी. कश्मीर में केवल PoK बचा हुआ है. इस पर DGMO लेवल की बातचीत इकलौता कम्युनिकेशन चैनल होगा. इस मामले में किसी भी तीसरे देश या थर्ड पार्टी की एंट्री भारत को मंजूर नहीं है. भारत पाकिस्तानी DGMO के अलावा किसी दूसरे शख्स या पार्टी से बात नहीं करेगा.
3. डोनाल्ड ट्रंप ने रखा था कश्मीर विवाद पर मध्यस्थता का प्रस्ताव
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रविवार को भारत और पाकिस्तान की सीजफायर पर बनी सहमति की प्रशंसा की थी. पहलगाम आतंकी हमले को लेकर चार दिन के संघर्ष के बाद यह सीजफायर हुआ है. ट्रंप ने कहा कि आक्रामक रुख केवल लाखों लोगों की मौत का कारण बन सकता है. वह दोनों देशों के साथ व्यापार बढ़ाने जा रहे हैं और कश्मीर मुद्दे को सुलझाने के लिए उनके साथ मिलकर काम करेंगे.
4. ट्रंप के प्रस्ताव पर खुश हुआ था पाकिस्तान
ट्रंप के मध्यस्थता करने के प्रस्ताव पर पाकिस्तान बेहद खुश है. पाकिस्तान ने इसका स्वागत किया है, जबकि भारत लगातार कहता रहा है कि इस मुद्दे पर इस्लामाबाद के साथ किसी मध्यस्थ के जरिये बात नहीं की जाएगी. दोनों देशों के बीच सभी मुद्दे केवल शिमला समझौते के तहत ही द्विपक्षीय बातचीत से सुलझाए जाएंगे.
अपनी राय और अपने इलाके की खबर देने के लिए हमारे गूगल, फेसबुक, x, इंस्टाग्राम, यूट्यूब और वॉट्सऐप कम्युनिटी से जुड़ें.
- Log in to post comments

'केवल PoK पर हो सकती है बात' भारत ने ठुकराया ट्रंप का का मध्यस्थता का ऑफर, पढ़ें 5 पॉइंट्स