डीएनए हिंदी: अगर आपने अभी तक अपने पैन कार्ड को आधार कार्ड से लिंक नहीं किया है तो बता दें इन दोनों दस्तावेजों को लिंक करने के लिए अब सिर्फ एक दिन का समय बचा है. ऐसा ना करने पर आपको जुर्माना भरना पड़ेगा.
पैन-आधार को लिंक करने के लिए केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) द्वारा जारी अधिसूचना के मुताबिक, 1 अप्रैल 2022 से लेकर 30 जून 2022 के बीच आप 500 रुपये का जुर्माना देकर इसे लिंक कर सकते है. अगर आप इस काम में और तीन महीने की देरी करेंगे तो यह जुर्माना बढ़ कर 1000 रुपये तक पहुंच जायेगा।
क्यों इस नियम को लागू कर रही है सरकार?
दरअसल, कई टैक्सपेयर्स अपनी सालाना इनकम के बारे जानकारी छुपाते हैं, जिससे इनकम टैक्स डिपार्टमेंट को भारी नुकसान उठाना पड़ता है इसीलिए विभाग टैक्स चोरी से निपटने के लिए यह सिस्टम लेकर आ रहा है.
इस तरीके से अगर कोई टैक्सपेयर चाहेगा तो भी टैक्स चोरी नहीं कर पाएगा क्योंकि आधार और पैन के लिंक होने से आपके सभी पैसों के लेन-देन पर डिपार्टमेंट की सीधी नज़र रहेगी. इससे डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन बढ़ाने में भी मदद मिलेगी. 8 नवंबर 2016 को नोटबंदी के बाद से देशभर में टैक्सपेयर्स की संख्या में तो इजाफा हुआ है लेकिन इस हिसाब से कुल टैक्स कलेक्शन में बढ़ोतरी नहीं हुई है.
क्यों लाया गया इनकम टैक्स में जुर्माने का नियम?
गौरतलब है कि तय समय सीमा के बाद जुर्माना लगाने का यह नियम The Taxation Laws (Amendment) Act 2021 में संशोधन के रूप में पेश किया गया था. इसे आयकर अधिनियम, 1961 में धारा 234एच को लगाने के लिए पेश किया गया था. इससे पहले दो अलग-अलग दस्तावेजों को तय तारीख तक लिंक नहीं करने को ले पर जुर्माने से जुड़ा कोई प्रावधान नहीं था.
अगर नहीं किया आधार-पैन लिंक तो हो सकती है परेशानी
तय समय सीमा पर अगर आधार को पैन से लिंक नहीं किया तो नए नियमों के अनुसार जुर्माना तो लगेगा ही साथी ही पैन डिएक्टिवेट भी हो सकता है. आपको बता दें कि अगर किसी का आधार-पैन लिंक नहीं है तो वित्तीय लेनदेन में भी भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है. जैसे म्यूचुअल फंड, शेयर बाजार व फिक्स्ड डिपॉजिट जैसे कई ट्रांजिक्शन्स में प्रॉब्लम आ सकती है.
आधार कार्ड और पैन कार्ड को लिंक करने के फायदे
आधार कार्ड, भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (UIDAI) द्वारा जारी की गई 12 अंकों की संख्या प्रत्येक भारतीय नागरिक के लिए पहचान का एक ज़रूरी हिस्सा बन गई है. आधार बढ़ती ज़रूरतों के साथ-साथ पहचान के लिए सबसे अधिक मांगा जाने वाला दस्तावेज एक बन गया है.
आधार के यूनिक आईडी के जरिए किसी भी व्यक्ति के बारे में पता लगाना आसान हो गया है. आधार के इस यूनिक फीचर की वजह से किसी भी व्यक्ति की पहचान से लेकर उसकी बैंक डिटेल्स और फ़ोन नंबर और ज़रूरी जानकारी आसान हो गया है.
इसी क्रम में इनकम टैक्स डिपार्टमेंट के लिए भी आधार और पैन को लिंक करना बहुत फायदेमंद हो सकता है. जैसे एक क्लिक से सारी जानकारी जुटाना ,पैसे-रुपये के लेन देन जैसे कई ज़रूरी गतिविधियों पर इनकम टैक्स डिपार्टमेंट सीधी नज़र रख सकता है.
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