डीएनए हिंदी: नीति आयोग की शनिवार को आठवीं गवर्निंग काउंसिल की बैठक हुई. इसकी अध्यक्षता पीएम नरेंद्रम मोदी ने की. इस बैठक में राज्यों के मुख्यमंत्री और केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपालों को बुलाया गया था. लेकिन इसमें 11 राज्यों के मुख्यमंत्री नहीं पहुंचे. ये राज्य दिल्ली, पंजाब, बिहार, तमिलनाडु, कर्नाटक, तेलंगाना, ओड़िशा, पश्चिम बंगाल, केरल, मणिपुर और राजस्थान हैं. यह पहली बैठक थी जो हाल में प्रगति मैदान में बने सम्मेलन केंद्र में हुई. इसी सम्मेलन केंद्र में इस साल जी-20 शिखर सम्मेलन आयोजित किया जाएगा.
पीएम मोदी ने इस बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि 2047 तक विकसित भारत के लक्ष्य को हासिल करने के लिए राज्यों और जिलों के दृष्टिकोण का राष्ट्रीय सोच के साथ तालमेल जरूरी है. वर्ष 2047 भारत की आजादी का 100वां साल है. पीएम मोदी ने राज्यों से राजकोषीय अनुशासन बनाए रखने को भी कहा. उन्होंने सूझ-बूझ के साथ ऐसे वित्तीय निर्णय लेने को कहा जो लोगों की आकांक्षाओं को पूरा करे. राज्यों से न केवल बुनियादी ढांचा और लॉजिस्टिक के लिए बल्कि स्थानीय क्षेत्र विकास और सामाजिक बुनियादी ढांचा सृजित करने के लिए गतिशक्ति पोर्टल के उपयोग करने का आग्रह किया.
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इन 11 राज्यों के मुख्यमंत्री नहीं हुए शामिल
नीति आयोग के मुख्य कार्यपालक अधिकारी बीवीआर सुब्रमणियम ने परिषद की बैठक के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि इसमें 19 राज्यों के मुख्यमंत्री और छह केंद्र शासित प्रदेशों के लेफ्टनेंट गवर्नर शामिल हुए. लेकिन दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत, बिहार के सीएम नीतीश कुमार, पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान, तेलंगाना के सीएम केसीआर, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन, केरल के सीएम पिनाराई विजयन, ओडिशा के सीएम नवीन पटनायक, मणिपुर के सीएम एन बीरेन सिंह और कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया शामिल नहीं हुए.
अगले 25 साल की रणनीति पर चर्चा
पीएम मोदी ने कहा कि नीति आयोग राज्यों की चिंताओं, चुनौतियों और बेहतर गतिविधियों का अध्ययन करेंगे और उसके अनुसार आगे का रास्ता तैयार करेंगे. उन्होंने कहा कि नीति आयोग राज्यों को अगले 25 साल के लिए उनकी रणनीति तैयार करने और उसे राष्ट्रीय विकास एजेंडा के साथ तालमेट बैठाने में मदद करने के साथ महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है. नीति आयोग संचालन परिषद की बैठक में भारत को 2047 तक विकसित देश बनाने के मकसद से स्वास्थ्य, कौशल विकास, महिला सशक्तीकरण और बुनियादी ढांचा विकास समेत कई मुद्दों पर विचार विमर्श किया गया. बैठक में केंद्रीय मंत्री अमित शाह, निर्मला सीतारमण और पीयूष गोयल के साथ उत्तर प्रदेश, असम, झारखंड तथा मध्य प्रदेश सहित कई राज्यों के मुख्यमंत्री शामिल हुए.
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बता दें कि पिछले साल मोदी की अध्यक्षता में यह बैठक सात अगस्त को हुई थी. परिषद की पहली बैठक आठ फरवरी, 2015 को हुई थी. कोरोना वायरस महामारी के कारण 2020 में बैठक नहीं बुलाई गई थी.
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NITI Aayog की बैठक से इन 11 राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने बनाई दूरी, जानिए इन नेताओं के नाम