Niti Aayog Meeting: दिल्ली में प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में नीति आयोग की गवर्निंग काउंसिल की 9वीं बैठक संपन्न हई. इस बैठक के दौरान बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आरोप लगाया था कि उन्हें मीटिंग के दौरान अपनी बात रखने का समय नहीं दिया गया. यहां तक की उन्होंने कहा कि मेरी बात खत्म होने से पहले ही मेरा माइक बंद कर दिया गया था.
इस पर नीति आयोग के के सीईओ बी.वी.आर. सुब्रह्मण्यम ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जवाब दिया है. उन्होंने कहा कि इस बैठक में 10 राज्यों के सीएम शामिल नहीं हुए. जिनमें केरल, तमिलनाडु, कर्नाटक, तेलंगाना, बिहार, दिल्ली, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, झारखंड और पुडुचेरी शामिल हैं.
इसके साथ ही नीति आयोग ने भी ममता बनर्जी के माइक बंद करने के आरोप पर सफाई दी. नीति आयोग का कहना है कि बंगाल की मुख्यमंत्री इस बैठक में उपस्थित थीं. उन्होंने अपनी बात रखने के लिए लंच से पहले का समय मांगा था. उनके इस अनुरोध पर उन्हें समय दिया गया और उन्होंने अपनी बात भी पूरी की थी.
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साथ ही बी.वी.आर. सुब्रह्मण्यम ने बताया कि मीटिंग में सभी को 7 मिनट का समय दिया गया था. हमने मामता बनर्जी की बातों को गौर से सुना है और नोट भी किया है. ममता के बीच मीटिंग से जाने के बाद भी उनके मुख्य सचिव कमरे में इंतजार कर रहे थे.
नीति आयोग ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इस मीटिंग का एजेंडा भी साफ कर दिया है. नीति आयोग का कहना है कि ये मीटिंग विकसित भारत की रूपरेखा तय करने के लिए रखी गई थी. नीति आयोग ने कहा कि जीवन को आसान बनाना, पेयजल स्वच्छता और भूमि को लेकर नीति आयोग की ओर से विजन डॉक्यूमेंट प्रस्तुत किया गया. उत्तराखंड, यूपी के पास विजन डॉक्यूमेंट हैं. जबकि एमपी, छत्तीसगढ़, असम, बिहार विजन डॉक्यूमेंट बनाने के लिए कतार में हैं.
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क्या ममता बनर्जी को सच में नहीं मिला मौका? Niti Aayog के जवाब में हुआ साफ