डीएनए हिंदी: हिमाचल प्रदेश में मल्टी टास्क वर्कर की भर्तियां की जा रही हैं. इसी के तहत नालागढ़ पीडब्ल्यूडी विभाग द्वारा मल्टी टास्क वर्कर रखने की प्रक्रिया भी शुरू हुई, पूरे बीबीएन क्षेत्र में करीबन 1700 उम्मीदवारी ने फार्म भरा इन 1700 उम्मीदवारी में से 142 उम्मीदवार ही भर्ती किए जायेंगे. इन उम्मीदवारों के फिजिकल टेस्ट भी करवाए जा रहे हैं जिसमे मेल उम्मीदवार को 50 किलो सीमेंट की बोरी उठाकर तकरीबन 50 मीटर दूरी 60 सेकंड में तय करनी है और फीमेल उम्मीदवारों को 25 किलो सीमेंट की बोरी उठानी पड़ेगी.
जानकारी के मुताबिक बेरोजगारी के चलते ग्रेजुएट व पोस्ट ग्रेजुएट बच्चे मजबूरी में मल्टी टास्क वर्कर की नौकरी के लिए फॉर्म भर रहे है जबकि इस पद के लिए क्वालिफिकेशन कोई मायने नहीं रखती. उम्मीदवार 8वीं पास होना चाहिए लेकिन ग्रेजुएट बच्चो द्वारा मल्टी टास्क वर्कर के लिए अप्लाई करना दिखा रहा है कि देश में बेरोजगारी कितनी बढ़ गई है और प्रदेश सरकार पढ़े लिखे नौजवानो को नौकरी देने में असमर्थ नजर आ रही है.
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अब सोचने वाली बात यह है कि सारी उम्र इन बच्चों ने मेहनत करके पढ़ाई की लेकिन सरकारों द्वारा नौकरियों न देने के कारण पड़े लिखे बच्चों को भी 8वीं पास के साथ कंपीटिशन लड़ना पड़ रहा है और सीमेंट उठाना पढ़ रहा है
कांग्रेस प्रदेश सचिव योगेश्वर राणा ने बीजेपी की नीतियों को जम कर कोसा उन्होंने कहा की बीजेपी ने नौजवानों के लिए नौकरियों का कोई प्रावधान नहीं किया है इसलिए आज पढ़े लिखे नौजवान भी मजबूरी में मल्टी टास्क वर्कर जिसमें मात्र 4400 महीना तनख्वाह है उसमें आवेदन कर रहे हैं. उन्होंने नौजवानों से अपील की है की एक जुट होकर सरकार की नीतियों का विरोध करें.
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सरकारों द्वारा नौजवानों के लिए 2 करोड़ नौकरियां व विकास के वादे की जमीनी हकीकत कुछ और ही है. अब देखना यह है कि अगर जल्द ही प्रदेश व केंद्र सरकार कोई नई नीतियां नहीं अपनाती तो आने वाली पीढ़ियों के भविष्य का क्या होगा.
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मजबूरी: 8वीं पास वाली नौकरी के लिए लगी ग्रेजुएट और पोस्टग्रेजुएट लड़के-लड़कियों की लाइन