डीएनए हिंदी: विपक्षी दलों की तरफ से सरकार पर नीतियों को जबरन थोपने की आलोचना के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें आड़े हाथ लिया है. पीएम मोदी ने गुरुवार को साफतौर पर कहा कि पहले की सरकारें कोई रास्ता नहीं बचने पर रिफार्म्स की तरफ बढ़ती थी, जबकि हमारी सरकार जनता की बात समझकर पॉलिसी बनाती है.
ARUN Jaitely Lecture में बोल रहे प्रधानमंत्री ने कहा, हमारी पॉलिसी मेकिंग pulse of the people पर आधारित है. हम ज्यादा से ज्यादा लोगों को सुनते हैं, उनकी आवश्यकता, उनकी आकांक्षा को समझते हैं. इसलिए हमने कभी भी Policy को लुभावनी मांगों के दबाव में नहीं आने दिया है.
Reforms के जरिए बना रहे 25 साल का रोडमैप
पीएम मोदी ने कहा, आज का भारत जबरदस्ती के जरिए Reforms लागू करने के बजाय सहमति के साथ सुधार कर रहा है. इसके जरिए हम आने वाले 25 साल का रोडमैप तैयार कर रहे हैं. उन्होंने कांग्रेस का नाम लिए बिना उस पर निशाना साधा और कहा, पहले भारत में बड़े रिफ़ॉर्म्स तभी हुए, जब पहले की सरकारों के पास कोई और रास्ता नहीं बचता था. हम सुधारों को necessary evil नहीं बल्कि win-win choice मानते हैं, जिसमें राष्ट्रहित है और जनहित है.
प्राइवेट सेक्टर इकोसिस्टम को सराहा
प्रधानमंत्री ने देश में प्राइवेट सेक्टर इकोसिस्टम को भी सराहा. उन्होंने कहा, हमारे देश के Private Players ने बहुत ही अच्छा काम किया है. चाहे COVID Vaccines का उदाहरण लें या आज भारत के पूरी दुनिया में सबसे विश्वसनीय और अत्याधुनिक Space Service Providers में से एक होने की बात करें. हमारा Private Sector Ecosystem बहुत ही बेहतरीन काम कर रहा है, लेकिन उनके पीछे भी तरक्की में पार्टनर के तौर पर सरकार की पूरी शक्ति मौजूद है.
शिंजो आबे और जेटली को किया याद
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में एक बार फिर जापान के दिवंगत पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे को श्रद्धाजंलि दी. बता दें कि आबे की गुरुवार को ही अपने देश के नारा शहर में भाषण के दौरान गोली मारकर हत्या कर दी गई है. पीएम ने कहा, आज भारत के विकास की जो गति है और जापान के सहयोग से हमारे यहां जो कार्य हो रहे हैं, इनके जरिए शिंजो आबे भारत के जन मन में सालों-साल तक बसे रहेंगे.
पीएम ने कहा, उनके कार्यकाल में भारत जापान के राजनीतिक संबंधों को नई ऊंचाई तो मिली ही, हमने दोनों देशों की सांझी विरासत से जुड़े रिश्तों को खूब आगे बढ़ाया. आज का दिन मेरे लिए अपूर्णीय क्षति और असहनीय पीड़ा का दिन है. आबे मेरे तो साथी थे ही, वो भारत के भी उतने ही विश्वसनीय दोस्त थे.
उन्होंने पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली को भी याद किया और कहा, हम जब बीते दिनों को याद करते हैं, तो उनकी बहुत सारी बातें, उनसे जुड़े बहुत से वाकये याद आते हैं. उनकी बोलने की कला के तो हम सभी कायल थे. उनका व्यक्तित्व विविधता से भरा था, उनका स्वभाव सर्वमित्र था.
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों पर अलग नज़रिया, फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर.
- Log in to post comments
Arun Jaitley Lecture : पॉलिसी मेकिंग पर बोले पीएम मोदी, कहा- pulse of the people है आधार, हम लोगों की बात सुनते हैं