डीएनए हिंदी: Sexual Relation Causes Cervical Cancer- महिलाओं में होने वाले कैंसर में से ब्रेस्ट और सर्वाइकल कैंसर सबसे ज्यादा होते हैं. पुरुष और महिलाओं को कुछ कैंसर ऐसे हैं जो कॉमन हैं लेकिन कुछ कैंसर दोनों को अलग अलग होते हैं. महिलाओं को होने वाले सर्वाइकल कैंसर का मुख्य कारण (Sexual Relation causes Cervical Cancer) एक से ज्यादा पुरषों के साथ शारीरिक संबंध बनाना है. चलिए जानते हैं सर्वाइकल कैंसर के कारण, लक्षण और भारत में महिलाओं की क्या स्थिति है, हम कैसे इससे बच सकते हैं.
महिलाओं के गर्भाशय के निचले हिस्से को सर्विक्स कहते हैं, सर्वाइकल कैंसर महिला के गर्भाशय ग्रीवा की कोशिकाओं को प्रभावित करता है. सर्वाइकल कैंसर के तीन मुख्य प्रकार हैं, इसमें स्क्वैमस सेल कार्सिनोमा, एडेनोकार्सिनोमा, मिश्रित कार्सिनोमा शामिल हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन के मुताबिक (डब्ल्यूएचओ) महिलाओं में होने वाले कैंसर में ये दूसरा सबसे ज्यादा होने वाला कैंसर है.
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क्या कहती है रिसर्च (WHO Research on Cervical Cancer)
इंटरनेशनल एजेंसी फॉर रिसर्च ऑन कैंसर के अनुसार, भारत में हर साल 1.23 लाख मामलों में सर्वाइकल कैंसर का निदान किया जाता है. इस कैंसर से हर साल 67 हजार महिलाओं की मौत हो जाती है. यह भारतीय महिलाओं में पाया जाने वाला दूसरा सबसे आम कैंसर है. सर्वाइकल कैंसर के मामले में भारत दुनिया में पांचवें स्थान पर है. साल 2020 में दुनिया भर में 6 लाख से ज्यादा महिलाओं को इस कैंसर का पता चला था, इनमें 3.42 लाख महिलाओं की मौत हो चुकी है. विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, इनमें से 90 प्रतिशत रोगी निम्न या मध्यम आय वाले देशों से थे. आपको बता दें कि सर्वाइकल कैंसर की वैक्सीन आ चुकी है, उम्मीद की जा रही है कि अब इस कैंसर से बचना आसान हो पाएगा
कारण (Causes)
एचआईवी इसका सबसे मुख्य कारण है (HIV)
एक से ज्यादा पुरषों के साथ अगर शारीरिक संबंध बनाया जाए तो महिलाओं के लिए इस कैंसर का जोखिम बढ़ जाता है मोटापा,धुम्रपान
गर्भाशय ग्रीवा के कैंसर का पारिवारिक इतिहास
हेल्दी खाने का कम सेवन
गर्भविरोधक गोलियों का सेवन
35-45 साल के बीच ये कैंसर ज्यादा होता है
पुरुषों से ज्यादा महिलाओं में होता है
एचपीवी की वजह से भी कैंसर जल्दी फैलता है
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लक्षण (Symptoms)
पीरियड्स के बीच ब्लीडिंग
संभोग के बाद खूना
मैनोपोज के बाद खून बहना
संभोग के दौरान बेचैनी या खून आना
तेज गंध के साथ योनि से स्राव
रक्त के साथ योनि स्राव
यूरिन करते वक्त दर्द महसूस होना
व्हाइट डिसचार्ज, स्मेल आना
यूरिन में दर्द
सर्वाइकल कैंसर का पता इस टेस्ट से मिलेगा
पैप स्मिअर टेस्ट (pap smear test) और HPV टेस्ट से सर्वाइकल कैंसर का पता चलता है. अमेरिकन कैंसर सोसाइटी के मुताबिक 25 से 65 साल की महिलाओं को सर्वाइकल कैंसर का टेस्ट करवाना चाहिए. हर 5 साल या हर 3 साल में ये टेस्ट महिलाओं को जरूर करवाना चाहिए.
इलाज और इन बातों का रखें ध्यान (Keep These Things in Mind, Treatment)
जैसे ही आपके नीचले हिस्से में, यूरिन में कोई भी समस्या होने लगे तुरंत डॉक्टर को दिखाएं. योनि साफ रखें, हाईजीन का ध्यान रखें. इसके बाद थेरैपी शुरू करें और दवाएं भी लें.
Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.)
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एक से ज्यादा पुरुषों से शारीरिक संबंध बनाना सर्वाइकल कैंसर को बुलावा, महिलाएं हो जाएं सचेत