डीएनए हिंदी: Blood Clot in Periods Causes Health Problem, Treatment- पीरियड्स में हेवी ब्लिडिंग (Heavy Bleeding) सामान्य बात है लेकिन अगर ब्लिडिंग की जगह ब्लड क्लॉट होने लगे तो ये समस्या का संकेत हो सकता है. कई बार बड़े-बड़े थक्के लगातार आने लगते हैं, लेकिन समझ नहीं आता इसके पीछे की वजह क्या है. अगर आप लगातार ऐसी समस्या से जूझ रही हैं तो इसके पीछे ये कुछ कारण हो सकते हैं. जब तक ये क्लॉटिंग (Blood Cloting) कभी कभी होती है तो कोई बात नहीं लेकिन लगातार होना समस्या का कारण है.
ब्लिडिंग के दौरान दिखने वाले खून के थक्के, हमारी नसों में होने वाले ब्लड क्लॉट की तरह खतरनाक नहीं होते, फिर भी इसपर ध्यान देने की आवश्यकता है. अगर आपको हर घंटे में पैड बदलने की जरूरत हो रही है तो सावधान हो जाएं.
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कारण (Causes of Blood Cloting)
पीरियड्स के दौरान गर्भाशय की लाइनिंग में जमा खून गर्भाशय के निचले हिस्से में जमा हो जाता है ताकि सर्विक्स के जरिए योनी के माध्यम से बाहर निकल सके. गर्भाशय की इस परत को पतला करने के लिए शरीर में एंटीकॉग्युलेंट बनते हैं ताकि खून पतला हो जाए और आसानी से बाहर निकल सके, लेकिन जब खून की मात्रा अधिक होती है और शरीर इतनी जल्दी पर्याप्त मात्रा में एंटीकॉग्युलेंट नहीं बना पाता तो खून के थक्के बाहर निकलने लगते हैं.ये क्लॉट जेल की तरह और मूंगफली के छोटे दाने की तरह दिखते हैं.
(Uterus Problem)
गर्भाशय से जुड़ी किसी समस्या के कारण भी ऐसा हो सकता है. यूरेटिन फाइब्रॉएड, एडिनोमायोसिस और एंडोमेट्रियोसिस जैसी स्थितियां जो गर्भाशय को बड़ा करती हैं, ये गर्भाशय की दीवार पर प्रेशर डाल सकती हैं. इससे पीरियड्स के दौरान ब्लीडिंग और थक्के बढ़ सकते हैं.
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हार्मोनल डिस्बैलेंस (Hormonal Disbalance)
गर्भाशय की परत ठीक से बढ़ने के लिए प्रोजेस्टेरोन और एस्ट्रोजन के बैलेंस पर निर्भर करती है. अगर ये हार्मोन बिगड़ते हैं तब हैवी ब्लीडिंग और क्लॉट्स होने की संभावना होती है. पेरिमेनोपॉज, मीनोपॉज, वजन घटाने या बढ़ने में भी बदलाव होते हैं.
गर्भाशय के कैंसर के कारण भी ऐसा हो सकता है. गर्भाशय और सर्विक्स के कैंसरयुक्त ट्यूमर हैवी ब्लीडिंग और थक्के की वजह बन सकते हैं.
मिसकैरेज भी इसकी एक वजह है, जिसकी वजह से पीरियड्स के दौरान खून के थक्के आते हैं
कैसे करें इलाज (Treatment, Home Remedies)
ऐसे में पीरियड्स से पहले ज्यादा से ज्यादा पानी पिएं
अदरक और हल्दी का सेवन करें, इससे सूजन और दर्द दोनों कम होते हैं.
लहसुन खाएं, हरी सब्जियां लें, यह फ्री रेडिकल्स के असर को कम करता है और प्लेटलेट्स काउंट्स को ठीक रखता है.
लाल मिर्च में सेहत को लाभ पहुंचाने वाले कई गुण होते हैं.
दालचीनी का सेवन करें और चाय भी पी सकते हैं.
पीरियड्स के दौरान भी एक्सरसाइज
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लगातार पीरियड्स में खून के थक्के आना कहीं गर्भाशय में दिक्कत तो नहीं, कारण और इलाज