डीएनए हिंदी: Salman Rushdie Attacked: सलमान रुश्दी (Salman Rushdie) पर एक लेक्चर के दौरान गर्दन और धड़ में छुरा घोंपा गया था. इस हमले में उनकी एक आंख खोने की भी संभावना है. उनके एजेंट ने कहा कि 75 साल के रुश्दी की बांह की नसें कट गईं हैं और छुरा घोंपे जाने की वजह से लेखक का लीवर डैमेज हो गया है. पुलिस ने कथित रूप से अपराध करने के आरोप में 24 साल के हादी को हिरासत में लिया है. बॉम्बे में एक मुस्लिम कश्मीरी परिवार में जन्मे रुश्दी बाद में यूके चले गए. उन्हें अपने चौथे उपन्यास, 'द सैटेनिक वर्सेज' के लिए लंबे समय से मौत की धमकियों का सामना करना पड़ रहा है.
ऐसा पहली बार नहीं जब सलमान रुश्दी की कोई किताब चर्चा में रही है. इससे पहले भी लेखकी की किताब 'मिडनाइट्स चिल्ड्रन' ने सुर्खियां बटोरीं. उनकी नॉवेल मिडनाइट चिल्ड्रन जबरदस्त सुपरहिट आंका गया था. इस नॉवेल को 1981 में बुकर प्राइज (Booker Prize) से भी नवाजा गया. ब्रिटेन ने उन्हें हमेशा अपना सम्मानित नागरिक माना. इसी कारण साहित्य की सेवा के लिए 16 जून 2007 को महारानी एलिजाबेथ के जन्मदिन पर उन्हें नाइट (सर) की उपाधि से भी नवाजा जा चुका है. खास बात यहा है कि उनके इस नॉवेल पर इसी नाम से एक फिल्म भी बनाई जा चुकी है.
ये भी पढ़ें - फतवा, मौत की धमकी और निर्वासन, एक किताब ने कैसे बदल दी सलमान रुश्दी की ज़िन्दगी?
सलमान रुश्दी की किताब मिडनाइट्स चिल्ड्रन का प्लॉट 15 अगस्त 1947 की रात का है, जिस आधी रात को कुछ बच्चों ने जन्म लिया था. हालांकि, इस किताब को लेकर ओटीटी प्लेटफॉर्म नेटफ्लिक्स की तरफ से वेब सीरीज की घोषणा की गई थी, जिसे बनाने के लिए विशाल भारद्वाज से बातचीत की गई. मगर साल 2019 में यह काम ठंडे बस्ते में चला गया. सलमान रुश्दी की किताब मिडनाइट्स चिल्ड्रन पर साल 2012 में इसी नाम से फिल्म बनाई थी. ऐसा बताया जाता है कि इस फिल्म के लिए शाहिद कपूर और रणबीर कपूर को लीड रोल ऑफर किया गया था, मगर दोनों से इस ऑफर को ठुकरा दिया. इस फिल्म को कई फिल्म फेस्टिवल में दिखाया गया, अगले साल 2013 में जब फिल्म भारत में रिलीज हुई तो दर्शक इसे देखने सिनेमा घर तक नहीं पहुंचे.
यह फिल्म अपने रिलीज के दौरान ही सुर्खियों में आ गई थी. इस फिल्म की शूटिंग श्रीलंका में की गई थी, जहां सलमान रुश्दी पर फतवे जारी किए जाने के बाद चरमपंथियों का खतरा मंडरा रहा था. डर को भांपते हुए फिल्म के निर्देशक दीपा मेहता ने श्रीलंका में फिल्म के नाम को बदलकर शूटिंग को अंजाम दिया.
हालांकि, बाद में श्रीलंका में मौजूद ईरानी दूतावास को यह खबर लग गई थी कि यहां सलमान रुश्दी की किताब पर आधारित फिल्म की शूटिंग की जा रही है. जिसके बाद चार दिनों का विरोध प्रदर्शन किया गया जिसका अंजाम यह था कि फिल्म की शूटिंग कुछ दिनों तक रोकने पड़ गई थी. दीपा मेहता ने श्रीलंका के तत्कालीन राष्ट्रपति महिंदा राजपक्षे से बात की और इस फिल्म की शूटिंग का पूरा किया.
ये भी पढ़ें - हमले में अपनी आंख खोने के कगार पर Salman Rushdie, खौफ में आया बॉलीवुड
साल 1981 में आई सलमान रुश्दी की किताब मिडनाइट्स चिल्ड्रन को लेकर एक बार शशि कपूर फिल्म बनाना चाहते थे. सलमान रुश्दी की विवादित छवि को देखते हुए कोई भी फिल्ममेकर उनकी किताबों को लेकर फिल्म नहीं बनाना चाहता था, मगर शशि कपूर ने यह हिम्मत जुटाने की कोशिश की थी. साल 1983 में मिडनाइट्स चिल्ड्रन पढ़ने के बाद शशि कपूर ने जब इस किताब पर फिल्म बनाने की सोची, तब उनकी दो फिल्में बैक टू बैक फ्लॉप हो गई. जिसके कारण उन्हें डेढ़ करोड़ से ज्यादा का घाटा हुआ था. यह रकम उस वक्त काफी ज्यादा मानी जाती थी. जिसके बाद शशि कपूर को कभी मिडनाइट्स चिल्ड्रन के ऊपर फिल्म बनाने की हिम्मत नहीं हुई.
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर.
- Log in to post comments
Salman Rushdie की इस किताब पर बनी फिल्म ने आगे चलकर काट दिया था बवाल