डीएनए हिंदी: यूक्रेन (Ukraine) और रूस (Russia) के बीच जंग का आज 51वां दिन है. युद्धविराम के संकेत दूर-दूर तक नजर नहीं आ रहे हैं. एक तरफ जहां रूस अपनी जिद पर अड़ा हुआ है तो वहीं यूक्रेन भी किसी सूरत में पीछे हटने को तैयार नहीं. रूस बैलिस्टिक मिसाइल, इस्कंदर मिसाइल जो 500 किलोमीटर कि दूरी तक अपना निशाना लगा सकता है और वैक्यूम बम जैसे खतरनाक हथियारों का इस्तेमाल कर रहा है.
यूक्रेन भी अपनी पूरी ताकत झोंकते हुए जेवलिन मिसाइल, बरक़तार मिसाइल जैसे हथियारों का इस्तेमाल करते हुए रूस की नाक में दम किए हुए है. यूक्रेन ने एक बेहद खतरनाक मिसाइल का इस्तेमाल रूस के खिलाफ किया है. यूक्रेन का दावा है कि इस मिसाइल के हमले से रूस के लड़ाकू जहाज मोस्कवा को काले सागर (Black Sea) में डुबा दिया है. इस मिसाइल का नाम है नेपच्यून (Neptune). रूस ने इन दावों को खोखला बताते हुए कहा है कि मोस्कवा पर हथियारों और बारूद का धमाका हुआ था.
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क्या है नेपच्यून मिसाइल?
यूक्रेनी नौसेना को पिछले साल मार्च में 300 किलोमीटर रेंज (186 मील) की नेपच्यून मिसाइलों की पहली डिलीवरी मिली थी. नेपच्यून का डिजाइन सोवियत KH-35 एंटी-शिप मिसाइल पर आधारित है, जिसकी रेंज और इलेक्ट्रॉनिक्स में काफी सुधर किया गया. इस मिसाइल का निर्माण सर्फेस वॉरशिप और ट्रांसपोर्ट वेसल को टक्कर देने के लिए किया गया था.
पानी, जमीन और हवा कहीं भी दुश्मनों को कर सकती है तबाह
इस मिसाइल वज़न 870 किलोग्राम है जिसमें से 150 किलो विस्फोटक को लेकर उड़ सकता है. इस मिसाइल के जरिए पानी, ज़मीन और हवा कहीं पर भी निशाना लगाया जा सकता है. इस मिसाइल की लम्बाई 16 फ़ीट है और इसकी रेंज 300 किलोमीटर तक की है.
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2019 में पहली बार हुई थी मिसाइल की सफल टेस्टिंग
मिसाइल को पहली बार कीव में हथियार और सुरक्षा 2015 प्रदर्शनी में दिखाया गया था. इस मिसाइल का पहला प्रशिक्षण 22 मार्च, 2016 को किया गया था. नेपच्यून मिसाइल का प्रशिक्षण विल्खा मिसाइल के साथ-साथ ही किया गया था लेकीन विल्खा की तरह नेपच्यून के परिक्षण परिणामों और क्षमता का प्रचार नहीं किया गया था.
नेशनल सिक्योरिटी एंड डिफेंस काउंसिल ऑफ यूक्रेन के मुताबिक नेपच्यून का सफल परिक्षण 30 जनवरी 2018 को हुआ था. 17 अगस्त 2018 को इस मिसाइल ने सफलतापूर्वक 100 किलोमीटर टारगेट रेंज को दक्षिण ओडेसा (Odesa) में पूरा किया था. 6 अप्रैल 2019 को दोबारा इस मिसाइल का सफल परिक्षण किया गया था. यह मिसाइल किसी भी ठिकाने को तबाह करने में सक्षम है. रूसी जंगी जहाज पर यह मिसाइल भारी पड़ी है.
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