डीएनए हिंदी: भारतीय रिजर्व बैंक ने बुधवार को चालू वित्त वर्ष के लिए शहरी मांग में सुधार और ग्रामीण भारत में धीरे-धीरे सुधार के पीछे अपने विकास अनुमान को 7.2 प्रतिशत पर बरकरार रखा. चालू वित्त वर्ष के लिए तीसरी मौद्रिक नीति का ऐलान करते हुए, आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था लचीली बनी हुई है, और केंद्रीय बैंक विकास का समर्थन करना जारी रखेगा.
तिमाही वार कैसे बढ़ेबी जीडीपी
आरबीआई को चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 16.2 प्रतिशत की वृद्धि की उम्मीद है, जो चौथी तिमाही तक घटकर 4 प्रतिशत रह जाएगी. हालांकि, उन्होंने आगाह किया कि मौजूदा रूस-यूक्रेन युद्ध से जोखिम हैं. केंद्रीय बैंक ने इससे पहले अप्रैल में अपने पहले के 7.8 प्रतिशत के अनुमान से 2022-23 के लिए जीडीपी विकास अनुमान को घटाकर 7.2 प्रतिशत कर दिया था.
RBI MPC ने रेपो रेट में किया इजाफा, आम लोगों की लोन ईएमआई में होगी बढ़ोतरी
विश्व बैंक ने घटाया है अनुमान
मंगलवार को विश्व बैंक ने बढ़ती मुद्रास्फीति, सप्लाई चेन में में व्यवधान और जियो पॉलिटिकल टेंशन की वजह से चालू वित्त वर्ष के लिए भारत के आर्थिक विकास के अनुमान को घटाकर 7.5 प्रतिशत कर दिया था. यह दूसरी बार था जब विश्व बैंक ने चालू वित्त वर्ष 2022-23 (अप्रैल 2022 से मार्च 2023) में भारत के लिए अपने सकल घरेलू उत्पाद के विकास के अनुमान को संशोधित किया है. अप्रैल में, इसने पूर्वानुमान को 8.7 प्रतिशत से घटाकर 8 प्रतिशत कर दिया और अब यह 7.5 प्रतिशत रहने का अनुमान है.
रेपो रेट में किया इजाफा
भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति (RBI MPC) की बैठक आज समाप्त हो गई है. जिसमें रेपो दरों (Repo Rate Hike)में 0.50 फीसदी का इजाफा कर दिया है. बीते एक महीने में यह दूसरी बार है जब आरबीआई ने अपने रेपो दरों में इजाफा किया है. इस इजाफे बाद रेपो रेट 4.90 फीसदी पर आ गए हैं. रेपो रेट में इजाफे का मतलब है कि बैंकों की रिटेल लोन यानी होम लोन (Home Loan), पर्सनल लोन (Personal Loan) और ऑटो लोन (Auto Loan)की ब्याज दरों में इजाफा हो जाएगा. केंद्रीय बैंक ने एमएसएफ दर और बैंक दर को 4.65 फीसदी से बढ़ाकर 5.15 फीसदी करने का निर्णय लिया है.
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आरबीआई गवर्नर ने बताया, वित्त वर्ष 2023 में कितनी रहेगी जीडीपी