डीएनए हिंदी: एनडीए से अलग हो जाने के बाद बिहार में नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के सामने प्रत्यक्ष दुश्मन बीजेपी है. बीजेपी ने नीतीश और उनकी महागठबंधन सरकार को घेरने की पूरी प्लानिंग कर रखी है. इस बीच नीतीश के विरोधियों में एक और नाम जुड़ गया है, जिन्होंने उनके खिलाफ पूरा मोर्चा खोल रखा है. वो हैं रणनीतिकार प्रशांत किशोर यानी पीके. प्रशांत किशोर (Prashant Kishor) एक समय नीतीश कुमार के राजनीतिक रणनीतिकार हुआ करते थे. लेकिन इन दिनों वह बिहार के सीएम पर लगातार निशाना साधने से नहीं चूक रहे हैं.
प्रशांत किशोर ने चेतावनी दी है कि अगर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 10 लाख सरकारी नौकरियां देने का वादा पूरा नहीं किया तो उनका घेराव किया जाएगा. पूर्वी चंपारण जिले के मोतिहारी में पहाड़पुर संभाग के मखनिया गांव में प्रशांत किशोर ने यह बात कही.उन्होंने अगस्त में 'महागठबंधन' सरकार के गठन के बाद किए गए नौकरी के वादे को निभाने के लिए मुख्यमंत्री को चुनौती भी दी.
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10 लाख नौकरी देने का किया गया था वादा
गौरतलब है कि पटना के गांधी मैदान में स्वतंत्रता दिवस के भाषण के दौरान सीएम नीतीश कुमार ने जनता से वादा किया था कि महागठबंधन सरकार का लक्ष्य सरकारी क्षेत्र में 10 लाख लोगों को नौकरी देना है.
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छात्रों के साथ करूंगा नीतीश कुमार का घेराव
प्रशांत किशोर ने कहा, ‘उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने भी कहा था कि उनकी पार्टी राष्ट्रीय जनता दल नए शासन के हिस्से के रूप मेंवादे को पूरा करेगी. आने वाले दिनों में 10 लाख सरकारी नौकरी देने के अपने वादे को पूरा करने में विफल रहने पर मैं बिहार के युवाओं के साथ नीतीश कुमार का घेराव करूंगा.’ बता दें कि प्रशांत किशोर राज्य में 3,500 किलोमीटर लंबी 'पदयात्रा' पर हैं.
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'10 लाख नौकरियां नहीं मिली तो होगा घेराव', प्रशांत किशोर की नीतीश कुमार को चेतावनी